डिजीटल डेस्क : Honoured – मिथुन चक्रवर्ती ‘दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड’ से सम्मानित, बोले मिथुन चक्रवर्ती –…थैंक यू भोलेनाथ,…कोलकाता। आज मंगलवार को भारतीय सिने-जगत के सबसे सम्मानित अवॉर्ड्स समारोह ’70वें नेशनल फिल्म अवॉर्ड्स’ में 8 अक्टूबर 2024 को दिग्गज बॉलीवुड अभिनेता मिथुन चक्रवर्ती को दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड से सम्मानित किया गया।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उन्हें यह सम्मान दिया। अवार्ड मिलने पर मिथुन चक्रवर्ती ने अपने संबोधन में कहा,- ‘…मैं भगवान से बहुत शिकायत करता था कि तुमने नाम दी, शोहरत दी पर इतनी तकलीफ क्यों दे रहा है। क्योंकि मुझे सब मिला… तो नहीं… कुछ भी थाली में परोसकर नहीं मिला।
लेकिन आज इस अवॉर्ड के मिलने के बाद मैंने शिकायत करना छोड़ दिया।…थैंक यू भोलेनाथ। कोलकाता में मेरा एक पुराना मंदिर है। कितने साल मैंने उस मंदिर का सेवा किया। मैंने उनको थैंक यू कहा, क्योंकि भगवान आपने मुझे सूद के साथ सब वापस कर दिया।‘
मिथुन की नसीहत -…खुद सो जाना पर सपने को सोने नहीं देना
इसी क्रम में युवाओं को नसीहत देते हुए दिग्गज मिथुन चक्रवर्ती बोले,- ‘आज के यंग लड़के आ रहे हैं, उनके लिए कहना चाहूंगा कि यंग टैलेंट बहुत हैं, लेकिन उनके पास पैसों की कमी है।…जैसे मेरे साथ था। …मैं कहूंगा कि तुम हिम्मत मत हारना, सपना खूब देखना। …खुद सो जाना पर सपने को सोने नहीं देना…क्योंकि अगर मैं बन सकता हूं तो सब बन सकते हैं।
…कभी सोचा भी नहीं था कि फुटपाथ से निकला एक लड़का इतना बड़ा सम्मान प्राप्त कर सकता है।…एक ऐसा व्यक्ति जो सचमुच कुछ नहीं था, जिसका कोई नाम नहीं था, उसने यह सब हासिल किया।
मैं हमेशा अपने फैन्स और आर्थिक रूप से कमजोर लोगों से यही कहता हूं, अगर मैं यह मुकाम बना सकता हूं तो आप भी कर सकते हैं।’
बता दें कि कोलकाता के मूल निवासी दिग्गज अभिनेता मिथुन चक्रवर्ती ने 350 से अधिक फिल्मों में काम किया है। अवॉर्ड के लिए जाते हुए एक्टर ने इस सम्मान पर खुशी जताते हुए कहा, ‘अभी तक इसे स्वीकार नहीं कर पाया हूं, अभी तक उसी खुमार में हूं लेकिन इतनी बड़ी इज्जत…थैंक यू बोल सकता हूं भगवान को।‘
मिथुन चक्रवर्ती बेबाकी से बोले – …पहला नेशनल अवॉर्ड पाकर दिमाग खराब हो गया था
मिथुन ने इस अवॉर्ड को पाकर खुशी जताते हुए बेबाकी से कहा, ‘…डायलॉग देते तो पढ़ देता…स्पीच देने को बोला है… क्या बोलूंगा कुछ समझ नहीं आ रहा है। बस इतना ही कहूंगा कि इस मंच पर मैं पहले तीन बार आ चुका हूं आपलोगों की दुआ से।
लेकिन सबसे पहली बार जब मिला था नेशनल अवॉर्ड तो उसके इतने किस्से हैं कि मैंने किसी को नहीं बताए हैं। जब वो मिला तो लोग कहने लगे कि अरे आपको नेशनल अवॉर्ड मिला। …तो मेरा दिमाग खराब हो गया कि मैंने कुछ बड़ा कर दिया।
नेशनल अवॉर्ड मिलने के बाद दिमाग तो खराब हो गया था। …मैं खुद को अल पचीनो समझने लगा। …मैं डायरेक्टर-प्रोड्यूसर के ऑफिस में जाकर ऊबासी लेने लगा था। मैं कहता था कि फिल्म की स्टोरी मेरे घर भेज देना।
…फिर एक प्रोड्यूसर ने मुझे मारा एक लात और बोला कि निकल यहां से। …फिर समझ में आया कि अब कोई काम नहीं देगा। मुझे एक्टर तो सबने बाद में मान लिया। लेकिन मेरे रंग के कारण लोगों ने मुझे खूब ताने मारे।
…लोग राह चलते मुझे कालिया बुलाते थे। मैंने सोचा कि रंग तो बदल नहीं सकता। मैंने भगवान से कहा कि भगवान रंग तो नहीं बदल सकता। तो मैंने डांस करना शुरू किया, … अपने पैरों को रुकने नहीं दिया। लोग मेरे रंग को भूल गए और मैं बन गया से..सी, डस्की, बंगाली बाबू।‘
अभिनेत्री नीना गुप्ता और अभिनेता मनोज बाजपेयी भी नेशनल अवॉर्ड्स से सम्मानित
बीते अगस्त माह में ही राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों की घोषणा सरकार के स्तर पर हुई थी। इस लिस्ट में रणबीर कपूर स्टारर ‘ब्रह्मास्त्र’ के लिए प्रीतम को भी सम्मानित किया गया। उन्हें बेस्ट म्यूजिक डायरेक्टर का नेशनल अवॉर्ड दिया गया है।
इनके अलावा ऋषभ शेट्टी को ‘कांतारा’ के लिए बेस्ट एक्टर और नित्या मेनन, मानसी पारेख को बेस्ट एक्ट्रेस का नेशनल अवॉर्ड दिया गया है। समारोह में अभिनेत्री नीना गुप्ता को बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस का अवॉर्ड ‘ऊंचाई’ के लिए दिया गया।
‘गुलमोहर’ के लिए स्पेशल मेंशन अवॉर्ड अभिनेता मनोज बाजपेयी को मिला। वहीं ‘पोन्नियिन सेल्वन’ के लिए मणिरत्नम को बेस्ट तमिल फिल्म का अवॉर्ड मिला। नॉन फीचर फिल्म कैटेगरी में ‘फुरसत’ के लिए बेस्ट म्यूजिक का अवॉर्ड विशाल भारद्वाज को मिला।