पटना: एक तरफ BPSC की 70वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा को लेकर अभ्यर्थी लंबे समय से BPSC के अध्यक्ष पर सवाल खड़े कर रहे हैं तो अब दूसरी तरफ सुप्रीम कोर्ट ने भी राज्य सरकार से उनकी नियुक्ति पर सवाल किया है। बीपीएससी अध्यक्ष परमार रवि मनुभाई की नियुक्ति के विरुद्ध दायर एक याचिका की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार को नोटिस देकर चार सप्ताह के अंदर जवाब माँगा है।
BPSC Chairman Appointment Case :
जस्टिस पी एस नरसिम्हा और जस्टिस मनोज मिश्रा की पीठ ने याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को नोटिस जारी करते हुए जवाब माँगा है। बता दें कि एक वकील ब्रजेश सिंह ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर करते हुए BSPC के अध्यक्ष रवि मनुभाई की नियुक्ति को नियमों का उल्लंघन बताया है। याचिका में कहा गया है कि बीपीएससी अध्यक्ष के खिलाफ विजिलेंस ब्यूरो द्वारा भ्रष्टाचार के एक मामले में आरोपी बनाया गया है और यह मामला अभी पटना के कोर्ट में लंबित है।
उनके खिलाफ भ्रष्टाचार और जालसाजी के गंभीर आरोप हैं ऐसे में उनकी ईमानदारी संदेह के घेरे में है। याचिका की सुनवाई करते हुए जस्टिस की पीठ ने याचिकाकर्ता पर भी टिप्पणी की और कहा कि एक वकील के तौर पर आपको ऐसे जनहित याचिकाओं से दूर रहना चाहिए क्योंकि बीपीएससी से आपका कोई लेना देना नहीं है।
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