DM ने कहा- प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के क्रियान्वयन में बरतें पूर्ण पारदर्शिता

DM ने कहा- प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के क्रियान्वयन में बरतें पूर्ण पारदर्शिता

बेतिया : बेतिया जिले के जिलाधिकारी दिनेश कुमार राय द्वारा आज कार्यालय प्रकोष्ठ में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजनान्तर्गत किये जा रहे कार्यों की समीक्षा की गई। इस योजना अंतर्गत प्राप्त आवेदनों का चयन/अनुमोदन हेतु विचार-विमर्श किया गया।जिलाधिकारी दिनेश कुमार राय ने कहा कि प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना अत्यंत ही महत्वपूर्ण है। मछुआरों की आय दोगुनी करने के लिए सरकार ने इस योजना को आरंभ किया है।

उन्होंने कहा कि इसके अंतर्गत मत्स्य उत्पादन एवं उत्पादकता, आधारभूत संरचना एवं शिकारमाही के पश्चात प्रबंधन से संबंधित योजनाओं के क्रियान्वयन से जिले के मत्स्य कृषकों को वैज्ञानिक पद्वति आधारित मत्स्य बीज, मत्स्य उत्पादन, मत्स्य विपणन, मत्स्य भंडारण, मत्स्य प्रसंस्करण एवं मत्स्य चारा उत्पादन आदि व्यवसाय द्वारा सतत गुणवतापूर्ण खाने योग्य मछलियों की बाजार में उपलब्धता तथा इससे संबंधित लोगों की आय में बढ़ोतरी सुनिश्चित करना है। उन्होंने जिला मत्स्य पदाधिकारी को निर्देश दिया कि प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत पात्र लाभुकों के चयन, अनुमोदन आदि कार्यों में पूर्णतः पारदर्शिता बरती जाए। आमजनों को इस योजना से अवगत कराएं। इस हेतु व्यापक प्रचार-प्रसार कराना सुनिश्चित करें ताकि लक्ष्य के अनुरूप प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना का जिले में सफलतापूर्वक क्रियान्वयन कराया जा सके।

जिलाधिकारी ने कहा कि समीक्षा के क्रम में जिला मत्स्य पदाधिकारी द्वारा प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना अंतर्गत अबतक की गयी कार्रवाई से जिलाधिकारी को अवगत कराया गया। उन्होंने बताया कि रियरिंग तालाब का निर्माण, नया तालाब निर्माण एवं उन्नत इनपुट योजना, आईस-प्लांट/कोल्ड स्टोरेज का निर्माण, तीन पहिया वाहन/ई-रिक्शा आईस-बॉक्स, बायोफ्लॉक तालाब निर्माण, मोटरसाईकिल आईस बॉक्स, मत्स्य पालन हेतु सूक्ष्म बायोफ्लॉक का अधिष्ठापन, फिश किऑस्क का निर्माण, लघु फीड मिल का अधिष्ठापन, रिक्रिएशनल फिशरिज का प्रमोशन, साईकिल आईस-बॉक्स आदि हेतु कुल-70 आवेदन अबतक प्राप्त हुए हैं। आवेदन करने हेतु विभागीय पोर्टल वर्तमान में ओपेन है। इच्छुक एवं योग्य व्यक्ति इस योजना का लाभ लेने हेतु आवेदन कर सकते हैं।

उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना हेतु मछुआरे, मत्स्य पालक, मत्स्य विक्रेता, मत्स्य मजदूर, मत्स्य विकास अभिकरण, स्वयं सहायता समूह, संयुक्त दैयता समूह, मत्स्यजीवी सहयोग समिति, मत्स्य फेडरेशन, मत्स्य उद्यमी, कम्पनियां, मत्स्य उत्पादक समूह/संस्थान, अनुसूचित जाति/जनजाति/महिला/दिव्यांग आदि पात्र आवेदक हैं। उन्होंने बताया कि अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं सभी वर्गों की महिलाओं हेतु विभिन्न अवयय के लिए निर्धारित इकाई का 60 प्रतिशत एवं अन्य वर्ग हेतु 40 प्रतिशत अनुदान देय है।

उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना अंतर्गत वितीय वर्ष 2023-24 में मत्स्य बीज हैचरी का अधिष्ठान करने हेतु एक लाभुक को लाभान्वित किया गया है। इसी तरह रियरिंग तालाब निर्माण हेतु 21 लाभुकों, नया तालाब का निर्माण हेतु 47 लाभुकों, निर्मित नया तालाब हेतु उन्नत इनपुट हेतु 30 लाभुकों, बायोफ्लॉक तालाब का निर्माण करने हेतु एक लाभुक, आर्द्रभूमि में मत्स्य अंगुलिकाओं का संचयन हेतु नौ लाभुकों, मध्यम आकार का अलंकारी मछलियों का संवर्द्वन इकाई हेतु एक लाभुक को लाभान्वित किया जा चुका है। इस अवसर पर उप विकास आयुक्त प्रतिभा रानी, अपर समाहर्त्ता राजीव कुमार सिंह, अपर समाहर्त्ता, विभागीय जांच कुमार रविंद्र, बेतिया सदर के एसडीएम विनोद कुमार, जिला मत्स्य पदाधिकारी गणेश राम, विशेष कार्य पदाधिकारी जिला गोपनीय शाखा सुजीत कुमार और एलडीएम सतीश कुमार सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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राजन कुमार की रिपोर्ट

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