रामगढ़/देवघर: रविवार को झारखंड के प्रमुख धार्मिक स्थलों पर श्रद्धालुओं का अभूतपूर्व सैलाब उमड़ पड़ा। जहां एक ओर रजरप्पा स्थित मां छिन्नमस्तिका मंदिर में श्रद्धा की धूप खिली रही, वहीं दूसरी ओर देवघर के बाबा बैद्यनाथधाम में दर्शन को लेकर भारी भीड़ और अफरा-तफरी का माहौल रहा।
रजरप्पा मंदिर में सुबह तीन बजे से ही झारखंड, बिहार और बंगाल से आए हजारों भक्तों का तांता लग गया। कड़ी धूप और उमस के बावजूद करीब 25 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने माता के दर्शन किए। भीषण गर्मी की वजह से कतार में खड़े कई महिलाएं और बच्चे गश खाकर गिर पड़े, जिन्हें स्थानीय सेवा शिविरों में प्राथमिक उपचार दिया गया। कुछ भक्तों को मुख्य मंदिर में प्रवेश भी नहीं मिल सका और उन्हें बाहर से ही पूजा कर लौटना पड़ा।
इधर, देवघर के बाबा मंदिर में भी श्रद्धालुओं की भीड़ बेकाबू हो गई। ओवरब्रिज से लेकर बीएन झा रोड तक तीन-तीन कतारों में लोग खड़े रहे। हालात इतने विकट हो गए कि मंदिर प्रशासनिक भवन के बाहर पुलिस और होमगार्ड के जवान भी थक कर बैठने को मजबूर हो गए।
गर्मी और उमस से परेशान कई श्रद्धालु होल्डिंग प्वाइंट के भीतर ही बेहोश हो गए, जिन्हें बाहर लाकर पानी व दवा दी गई।
दिनभर भीड़ नियंत्रण में लगी पुलिस ने मंझलाखंड, मानसरोवर और काठ गेट क्षेत्र में व्यवस्था बनाए रखने के लिए कड़ी मशक्कत की। रात 8 बजे तक मंदिर का पट बंद किया जा सका।
प्रशासन के अनुसार, रविवार को करीब 70,000 श्रद्धालु बाबा मंदिर पहुंचे, जिनमें से 4918 श्रद्धालुओं ने कूपन प्रणाली के तहत जलार्पण किया।
पूरे दिन भक्तों की आस्था और प्रशासन की चुनौती आमने-सामने रही, लेकिन किसी बड़े हादसे की सूचना नहीं मिली।