पटना: बीपीएससी (BPSC) की 70वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर दिसंबर 2024 से लगातार अभ्यर्थी धरना पर बैठे हुए हैं। इस बीच एक तरफ जहां परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर हाई कोर्ट में याचिका दायर की गई तो दूसरी तरफ बीपीएससी ने परीक्षा रद्द करने से इंकार करते हुए प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम भी घोषित कर दिया और मुख्य परीक्षा की तैयारी में जुटी हुई है।
पटना हाई कोर्ट ने भी परीक्षा रद्द करने संबंधी याचिका को ख़ारिज करते हुए BPSC और राज्य सरकार के पक्ष में फैसला सुनाया और बीपीएससी की 70वीं प्रारंभिक परीक्षा रद्द करने से इंकार कर दिया। BPSC अभ्यर्थियों के आंदोलन को बिहार में राजनीतिक रंग भी दिया गया और राजनीतिक दलों के साथ ही कई कोचिंग संस्थानों ने भी अपना पुरजोर समर्थन दिया। हालांकि समय के साथ कोचिंग संस्थान संचालक या तो कार्रवाई के शिकार हो गये या फिर कार्रवाई से बचने के लिए पीछे हट गए। अब इस मामले में छात्र नेता दिलीप ने कोचिंग संचालकों पर बड़ा हमला किया है।
BPSC को करवाना पड़ता री-एग्जाम
छात्र नेता दिलीप ने खान सर पर निशाना साधते हुए कहा कि खान सर का एक वीडियो है मेरे पास जिसमे वह कहते हुए सुनाई दे रहे हैं कि अगर BPSC की 70वीं प्रारंभिक परीक्षा रद्द कर दुबारा आयोजित नहीं की जाती है तो एक हजार करोड़ रूपये किस अधिकारी और उनके परिवार के सदस्यों के खाते में जायेगा यह सब जानकारी उनके पास है। छात्र नेता दिलीप ने पूछा कि जब खान सर के पास सारी जानकारी है तो फिर उन्होंने हाई कोर्ट में सारे सबूत पेश क्यों नहीं किये?
अगर वे कोर्ट में सारे सबूत पेश कर देते तो फिर छात्र के हित में फैसला आता लेकिन उन्होंने न तो कोर्ट में कोई सबूत पेश किया और न ही अब वे सबूत दे रहे हैं। सभी कोचिंग संचालक छात्रों के आंदोलन में शामिल हो कर छात्रों को गुमराह किया है। दिलीप ने कहा कि हो सकता है कि खान सर जांच से बचने के लिए की सबूत पेश नहीं कर रहे हैं लेकिन पटना पुलिस को वीडियो की जांच करनी चाहिए।
https://www.youtube.com/@22scopestate/videos
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पटना से विवेक रंजन पांडेय की रिपोर्ट
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