RANCHI: खूबसूरत होंठ सभी को चाहिए. हम सब चाहते हैं कि हमारे होंठ खूबसूरत दिखें लेकिन सच कहा जाए तो हम में से बहुत कम लोग ही अपने होंठों का अलग से ध्यान रखते हैं. बल्कि हम में से कुछ तो होंठों की समस्या पर गौर भी नहीं फरमाते. यही वजह है कि होंठों से संबंधित समस्याएं अगर बढ़ जाती हैं तो ठीक होने में थोड़ा समय लेती हैं. लेकिन कुछ ज़रूरी बातों का ध्यान रखकर हम न सिर्फ़ होंठों से जुड़ी समस्याओं को ठीक कर सकते हैं, बल्कि रोजमर्रा के जीवन में भी अपने होंठों की खूबसूरती बढ़ा सकते हैं.

सामान्य होंठ समस्याएं और उनके कारण निम्नलिखित हैं
फटे होंठ
फटे होंठ आमतौर पर लार, होंठों को चाटने, मसालेदार तीखे भोजन और ठंडे, ड्राई मौसम के कारण होते हैं. सर्दियों के आते ही हम में से अधिकतर को फटे होंठों का सामना करना पड़ता है, जो ड्राई होने के साथ ही लिप्स के स्किन की परत को बाहर निकालने लगते हैं, और कई बार सूजन भी हो जाती है. ये कई बार लाल और पपड़ीनुमा हो जाते हैं.
कई बार होंठों से खून भी बाहर निकलने लगता है और दर्द की वजह से बुरा हाल हो जाता है. इसके इलाज के लिए हमें अपने होंठों को पूरी तरह से हाइड्रेट रखने की ज़रूरत पड़ती है.
लिपस्टिक ब्लीडिंग
आपने लिपस्टिक लगायी लेकिन यह होंठों से निकलने लगी! जाहिर सी बात है कि आपको थोड़ी शर्मिंदगी महसूस होगी. कोई भी नहीं चाहता कि वह बार- बार अपनी लिपस्टिक के लेयर को छूकर ठीक करता रहे, यह काफ़ी अनकम्फर्टेबल भी लगता है. इसके लिए तो सबसे पहले अदृश्य लिप लाइनर लगाएं और उसके बाद कंसीलर ताकि आपकी लिपस्टिक के नीचे कलर्ड कैनवास तैयार हो जाए और यह प्राइमर की तरह काम भी करेगा.
इसके बाद ही होंठों के बीच से शुरुआत करके लिपस्टिक लगाना शुरू करें और पूरा होने के बाद टिश्यू पेपर को होंठों पर हल्के से रखें और ऊपर से ट्रांसलूसेंट पाउडर टैप करके ब्लॉट करें. इससे लिपस्टिक होंठों पर अच्छी तरह से सेट हो जाती है.
मुंह के छाले
मुंह के छाले लाल रंग के लिक्विड से भरे फफोले होते हैं जो मुंह के पास होंठों पर बनते हैं. ये अमूमन पैच में बनते हैं. मुंह के छाले दो हफ़्ते या उससे अधिक समय तक बने रह सकते हैं.
बुखार, ठंड, सूरज की रोशनी, तनाव, एग्जिमा जैसी समस्याओं की वजह से मुंह के छाले बढ़ सकते हैं. इसे ठीक करने के लिए डॉक्टर के पास जाना ज़रूरी है, थोड़े से आराम के लिए आप पेट्रोलियम जेली का इस्तेमाल कर सकते हैं. कुछ ऑइंटमेंट और क्रीम भी कारगर हो सकते हैं लेकिन डॉक्टर की परामर्श के बाद ही इस्तेमाल करना सही रहता है.