रांची : SC में झारखंड सरकार की याचिका पर सुनवाई- मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को
लीज आवंटित करने और उनके करीबियों के शेल कंपनियों में निवेश के मामले में
झारखंड हाई कोर्ट के अंतरिम आदेश के खिलाफ झारखंड सरकार ने
सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दाखिल की है. शुक्रवार को इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है.
सरकार ने हाई कोर्ट के उस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है,
जिसमें अदालत ने ईडी से सीलबंद लिफाफे में रिपोर्ट मांगी थी.
सुनवाई के दौरान सरकार का पक्ष रख रहे वरीय अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने अदालत को बताया कि
हाई कोर्ट के आदेशों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है.
सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने तक अदालत को इस मामले में सुनवाई स्थगित कर देना चाहिए.
इसके बाद अदालत ने कहा कि इस मामले में सरकार का पक्ष है कि पूर्व में इसे सुप्रीम कोर्ट में खारिज किया जा चुका है. अदालत को इसकी जानकारी भी दी गई, लेकिन अदालत ने संज्ञान नहीं लिया है. उक्त आदेश को भी सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है.
जानिए कोर्ट ने क्या कहा
सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस डा रवि रंजन व जस्टिस एसएन प्रसाद की अदालत ने कहा कि यह मामला महत्वपूर्ण है. ईडी की रिपोर्ट के देखने के बाद यह जनहित का मामला बनता है. इस पर सिब्बल ने कहा कि राज्य सरकार को ईडी की रिपोर्ट की कॉपी उपलब्ध नहीं कराई गई है. ऐसी स्थिति में वह अदालत की मदद नहीं कर पाएंगे. प्रतिवादियों को जवाब दाखिल करने के लिए रिपोर्ट की कॉपी दी जाए.
24 मई को होगी सुनवाई
बता दें कि जब कोर्ट ने मामले की सुनवाई सोमवार को निर्धारित करने का आदेश दिया तो महाधिवक्ता ने इसकी सुनवाई मंगलवार को निर्धारित करने का आग्रह किया. उनकी ओर से कहा गया कि सोमवार को कपिल सिब्बल की पहले से ही व्यस्तता है. उनके बार-बार आग्रह करने पर अदालत ने इस मामले में 24 मई को सुनवाई की अगली तिथि निर्धारित की है. इस मामले में सरकार का पक्ष है कि पूर्व में शेल कंपनियों का मामला सुप्रीम कोर्ट में खारिज किया जा चुका है. अदालत को इसकी जानकारी भी दी गई, लेकिन अदालत ने संज्ञान नहीं लिया है. उक्त आदेश को भी सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है.
रिपोर्ट: प्रोजेश दास
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