बिहार यातायात पुलिस का अहम फैसला, अब यंग पुलिस की होगी बहाली

पटना : बिहार यातायात पुलिस यंग हो इसको लेकर पुलिस मुख्यालय स्तर अहम फैसला लिया गया है। जिसकी जानकारी आज यातायात एडीजी सुधांशु कुमार ने दी है। इन्होंने बताया है कि अब यातायात पुलिस में आरक्षी या सिपाही वर्ग के लोगों की उम्र 35 वर्ष निर्धारित कर दी है है। इसी तरह अवर निरीक्षक की आयु 40 वर्ष तय कर दी गई है। हालांकि प्रमोशन से आने वाले हवलदार या एएसआई और एसआई की उम्र में कोई खास परिवर्तन नहीं किया गया है।

आपको बता दें कि राज्य के 12 जिलों में यातायात बल स्वीकृत है एवं शेष 28 जिलों में बल स्वीकृति का प्रस्ताव अंतिम चरण में है जिससे इन जिलों में करीब 4200 अतिरिक्त बल उपलब्ध हो पाया। यातायात बल पदाधिकारियों एवं कर्मियों की गुणवत्ता एवं प्रभावोत्पादकता में वृद्धि के लिए एक योजना तैयार की गई है।

यातायात बल का आयु प्रोफाइल युवा हो इसके लिए सिपाही की आयु सीमा अधिकतम 35 वर्ष तय की गयी है। अवर निरीक्षक के स्तर के पदाधिकारी की अधिकतम आयु 40 वर्ष तथा प्रोन्नति से आने वाले हवलदार/सहायक अवर निरीक्षक की अधिकतम आयु 55 साल होगी। पुलिस निरीक्षक की अधिकतम आयु 50 वर्ष तय की गई है। यातायात बल में कर्मियों/पदाधिकारियों का कार्यकाल तीन वर्ष का निर्धारित किया गया है, अर्थात प्रशिक्षण के उपरान्त न्यूनतम तीन वर्षो के लिए उन्हें यातायात कार्यो के लिए लगाया जाएगा एवं अन्य ड्यूटी के लिए स्थानान्तरित नहीं किया जा सकेगा।

एक जिले में पदस्थापना के दौरान वे अधिकतम तीन वर्षो के लिए यातायात ड्यूटी हेतु संलग्न किए जाएंगे एवं उस दौरान भी उनके दायित्व/कर्तव्य स्थल में फेरबदल किया जा सकेगा ताकि किसी प्रकार की गलत हितसाधना ना हो सके। यातायात बल के स्वीकृत/उपलब्ध पदों का एक तिहाई महिला बल होना अनिवार्य है जो राज्य सरकार की आरक्षण नीति के अनुरूप है।

यातायात हेतु चुने गए बल के एक पखवारे की अवधि के प्रशिक्षण की व्यवस्था चालक प्रशिक्षण एवं अनुसंधान संस्थान औरंगाबाद में परिवहन विभाग की सहायता से की गई है एवं अब तक इन 12 जिलों के करीब 500 कर्मी/पदाधिकारी को प्रशिक्षित किया जा चुका है। इस वर्ष के अन्त तक बाकी बचे कर्मियों/पदाधिकारियों को भी प्रशिक्षित करा लिया जाएगा। इन 12 जिलों में 15 नौजवान पुलिस उपाधीक्षकों की पदस्थापना की गई है और इन्हें बिहार पुलिस अकादमी, राजगीर में पाँच दिवसीय प्रशिक्षित उपरान्त हैदराबाद शहर की यातायात व्यवस्था को समझने के लिए परिचयात्मक दौरे पर भी भेजा गया है। जिले में कुल स्वीकृत बल का 70 नियमित डीएपी से भरा जाना है, शेष 30 रिक्ति नौजवान गृहरक्षकों से भरे जाने की प्रक्रिया जारी है।

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चंदन कुमार तिवारी की रिपोर्ट

 

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