रांची. मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन आज प्राकृतिक उपासना का पर्व ‘सरहुल पूजा’ (Sarhul) पर वीर बुधु भगत आदिवासी कॉलेज छात्रावास हातमा, आदिवासी हॉस्टल करमटोली एवं सिरमटोली स्थित ‘करम’ पूजा स्थल में आयोजित पूजा-अर्चना कार्यक्रम में शामिल हुए।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने सरहुल पूजा स्थलों में पारंपरिक रीति-रिवाज से पूजा-अर्चना करते हुए ईश्वर से समस्त झारखंड वासियों की सुख, समृद्धि एवं उन्नति की प्रार्थना की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री का सरहुल पूजा स्थलों में पारंपरिक विधि-विधान से स्वागत किया गया।
सरहुल पूजा (Sarhul) में शामिल हुए मुख्यमंत्री
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि आज का पवित्र दिन कई मायनों में महत्वपूर्ण दिन है। संयोग से आज के दिन ही सरहुल (Sarhul), ईद एवं नवरात्रि का त्यौहार पूरे देश में एक साथ मनाया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज आपसी भाईचारा के साथ एक-दूसरे के बीच खुशियां बांटने का समय है।
उन्होंने कहा कि हमसभी लोगों को मिलजुलकर आपसी सौहार्द और एकजुटता के साथ इन परम्पराओं को आगे बढ़ाने की जरूरत है ताकि आने वाली पीढ़ी भी झारखंड की संस्कृति और रीति रिवाज को संरक्षित करने के लिए प्रेरित हों। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज मैं इस पावन दिन के अवसर पर पूरे राज्य वासियों को सरहुल, ईद एवं नवरात्रि त्यौहार की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं देता हूं।
सरहुल के मौके पर मांदर बजाते नाचते-झूमते दिखे राज्यपाल, सरहुल पर्व पर राज्यवासियों को दी बधाई