सुल्तानगंज : सावन महीने की आज से शुरुआत हो गई है। सावन की आज पहली सोमवारी है। इस सावन महीने में एक अद्भूत संयोग बना है। सावन की शुरुआत सोमवार से और सावन की समापन भी सोमवार से ही होगी। सुप्रसिद्ध गायिका कल्पना पटवारी का एक गाना बहुत प्रसिद्ध है, जेकर नाथ भोलेनाथ उ अनाथ कैसे होई। ये गाना जमुई जिले के सदर प्रखंड के काकन गांव निवासी किशोरी महतो पर सटीक बैठती है।
आपको बता दें कि किशोरी महतो वर्ष 1996 से लगातार सुल्तानगंज से जल भरकर देवघर डाक बम के रूप में जलाअर्पण करते आ रहे हैं। पूरे श्रावण मास में प्रत्येक सोमवार को जलाअर्पण करते हैं। किशोरी ने बताया कि एक भयंकर सड़क दुर्घटना में हमारा बांया पैर की घुटना पूरी तरह से टूट गया था। ऑपरेशन के दौरान डाॅक्टर ने स्टील लगया। कई महीने तक बैड पर रहा। हमारा पैर टूटा इसे एक दुर्घटना समझ कर भूल गया लेकिन बस एक ही टिस मन में उठता था कि अब बाबा के दर्शन नहीं हो पाएंगे। मेरा डाक बम जाने का सकंल्प टूट जाएगा। इस बात को लेकर भोलेनाथ के आगे रोता था।
उन्होंने कहा कि एक दिन बाबा ने मुझे नहीं रोने और चुप रहने का सपना देकर कहा बेटा तुम एक बार डाक बम आते थे, तुम अब प्रत्येक सोमवार आना और मैं तुम्हारे साथ रहूंगा। तब से आज तक पैर में स्टील लगे रहने के बाद भी दौड़े-दौड़े बाबा नगरी पहुंचकर जलाअर्पण कर देते हैं। ऐसा लगता है कि जैसे बाबा भोलेनाथ मुझे खींचते हुए अपने पास बुला लेते हैं। किशोरी महतो अपनी व्यथा सुनाते हुए भावुक हो गए। आजकल के नौजवानों से एक अपील किया कि नशा से दूर रहे मांस, मदीरा, खैनी, बीड़ी से दूर रहे। सात्विक जीवन जीएं और भगवान के प्रति अपनी आस्था रखे। भगवान खुद साथ रहेंगे और सारे दुख दूर करेंगे। अभी मेरा एक बेटा सरकारी नौकरी में है और पढ़ाई कर रहा है। हमलोग भोलेशकंर की कृपा से खुशहाल जीवन बीता रहे हैं।
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श्वेतांबर कुमार की रिपोर्ट