Delhi Blast: CFSL की टीम को पहली सफलता मिली है. जिस लाल रंग की इकोस्पोर्ट कार को जांच टीम खोज रही थी. वह टीम को बरामद हो गई है. यह कार जांच टीम को फरीदाबाद से बरामद हुई है. यह कार फरीदाबाद के खंदावली गांव के पास खड़ी थी. पुलिस के द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, फरीदाबाद के खंदावली गांव से टीम को एक लाल रंग की कार बरामद हुई है. यह वही कार है जिसकी CFSL की टीम को तलाश थी. यह कार दिल्ली ब्लास्ट के मुख्य संदिग्ध डॉ उमर उन नबी की है.
Delhi Blast: कार की तलाश कर रही थी पुलिस की पांच टीम
इस लाल रंग की फोर्ड इकोस्पोर्ट कार की तलाश के लिए सभी सीमा के चेक नाकाओं को अलर्ट कर दिया गया था. धमाके के बाद जांच में लगी टीमों को यह भी पता चला था कि मुख्य संदिग्ध डॉ उमर उन नबी के पास i20 कार के अलावा एक और लाल रंग की कार है. जिसे खोजने के लिए दिल्ली पुलिस की पांच टीमें बनाई गई थी.
कड़ी मशक्त के बाद टीम को यह गाड़ी DL 10 CK 0458 फरीदाबाद के खंदावली गांव से जप्त की गई. कार को जप्त करने के बाद जब जांच टीम ने उस गाड़ी के नंबर की जांच की तो, ये साफ हो ह्या कि यह गाड़ी मुख्य संदिग्ध डॉ उमर उन नबी की है. जानकारी के लिए बता दें, यह लाल रंग की फोर्ड इकोस्पोर्ट कार मुख्य संदिग्ध डॉ उमर उन नबी के नाम पर पंजीकृत है.
Hazaribagh News: जनजातीए गौरव दिवस के रूप में मनाई जाएगी भगवान बिरसा मुंडा की जयंती
Delhi Blast: दबाव में किया धमाका!
प्रमुख सूत्रों के अनुसार, शुरुआती जांच में यह भी सामने आई है कि जम्मू-कश्मीर पुलिस और फरीदाबाद पुलिस के द्वारा की गई छापेमारी में मिले विस्फोटक पदार्थ के बाद संदिग्ध घबरा गया और हड़बड़ी में गड़बड़ी कर बैठा. दबाव में आकार संदिग्ध ने इस अविकसित बम को सक्रिय कर दिया. जिससे यह धमाका हुआ है. धमाका हुआ तो है मगर काफी बड़ा नहीं हुआ है. सूत्रों का कहना है कि यह धमाका किसी आत्मघाती मिशन जैसा नहीं था.
इनका ऐसा कहने के पीछे की वजह यह है कि संदिग्ध ने कार को अधिकांश मिशन की तरह किसी टारगेट से नहीं टकराया, न ही किसी इमारत, बैरिकेड या भीड़भाड़ वाले इलाके में गाड़ी घुसाने की कोशिश की. अधिकांश मिशन में इसी प्रकार के फुटेज देखने को मिलते हैं. मगर ऐसा कुछ भी देखने को नहीं मिला. इससे साफ है कि यह ‘फुल-स्केल सुसाइड मिशन’ नहीं था, बल्कि यह धमाका घबराहट की स्थिति में की गई है.
Highlights




































