टिकाऊ खेती के लिए पराली जलाना बंद करें – डॉक्टर सुहाने

टिकाऊ खेती के लिए पराली जलाना बंद करें - डॉक्टर सुहाने

आरा : कृषि विज्ञान केंद्र भोजपुर की 11वीं वैज्ञानिक सलाहकार समिति की बैठक का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डॉ. आरके सुहाने (निदेशक, प्रसार शिक्षा बिहार कृषि विश्वविद्यालय सबौर) विशिष्ट अतिथि डॉ. अंजनी कुमार सिंह (निर्देशक, आईसीएआर अटारी जोन चार पटना), डीआर डीबी सिंह (प्रधान वैज्ञानिक अटारी पटना), डॉक्टर पीके द्विवेदी (वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं प्रधान केवीके भोजपुर) और स्नेहा शीतल (प्रबंधक जीविका एवं भीमराज राय किसान भूषण भोजपुर) ने संयुक्त रूप से दीप जलाकर कार्यक्रम का उद्घाटन किया।

बैठक में किसी विज्ञान केंद्र के द्वारा विभिन्न कार्यों से जुड़ी गतिविधियों तथा उपलब्धियां के अतिरिक्त वर्ष 2024- 25 की कार्य योजना की समीक्षा की गई। निदेशक प्रसार शिक्षा डॉ. सुहाने ने कहा कि पूरे शाहाबाद में पराली जलाने की समस्या अभी भी गंभीर स्थिति में है जिसके कारण कहीं ना कहीं खेतों की उर्वरा शक्ति के साथ पर्यावरण पर भी विपरीत प्रभाव देखा जा रहा है। आवश्यकता है सामूहिक रूप में इस पर विचार करके इसे रोकने की। अगर आने वाले समय में 10 से 12 हज़ार एकड़ के किसान अगर अपनी पराली को सामूहिक रूप से बेचना चाह रहे हैं तो इसके लिए बगल के बिक्रमगंज में घुसिया खुर्द में एक सीबी प्लांट की स्थापना हुई है। जिनके द्वारा आपकी समूची परली खरीद ली जाएगी और उसके बदले में एक निर्धारित मूल्य भी आपको प्राप्त होगा। कृषि विज्ञान केंद्र इस कार्य के प्रचार प्रसार में एक महत्वपूर्ण कड़ी के रूप में काम करेगा।

डॉ. अंजनी कुमार सिंह निदेशक अटारी ने नारी योजना के अंतर्गत जिले में पोषण वाटिकाओं की श्रृंखला स्थापित करने का निर्देश देते हुए कहा की कोष की कोई कमी नहीं है। भारत सरकार की इच्छा है कि जिले में कुपोषण हटाने के लिए यह जागरूकता का एक अच्छा माध्यम होगा और अपने लिए अपने किचन गार्डन में लोग स्वयं की इच्छा अनुसार ताजी एवं स्वस्थ सब्जियां पैदा करने में सफल होंगे। श्रीअन्न के एक आदर्श गांव का चयन किया जाए और वहां पर इसके संस्करण से लेकर विभिन्न प्रकार के मूल्य संवर्धन से जुड़े कार्यक्रमों को करके लोगों के लिए आए के नए अवसर सृजित किया जाए। डॉ. द्विवेदी ने जानकारी दी कि जिले में संसाधन संरक्षण तकनीक के विकास के लिए वर्ष 2001 से कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। जिसके परिणाम स्वरूप आज जिले में 47 हजार एकड़ से ज्यादा भूमि में आधुनिक तकनीक का प्रयोग कर जल एवं भूमिका संरक्षण किया जा रहा है। जिससे प्रतिवर्ष किसानों के करोड़ों रुपए की बचत हो रही है।

इसी क्रम में यह भी जानकारी दी गई कि जिले में तिलहन एवं दलहन के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण कार्यक्रम चल रहे हैं। जिसमें भारत सरकार के सहयोग से सीड हब कार्यक्रम के अंतर्गत इस वर्ष उन्नत प्रवेद के मसूर आईपीएल 220 का 600 क्विंटल तथा बहुत ही अच्छी उत्पादन देने वाली छोटे दाने की चने की किस्म जीएनजी 2299 का 400 कुंतल बीच केंद्र के द्वारा उत्पादित किया गया है और यह बीच किसानों के लिए उचित मूल्य पर उपलब्ध है। किसान भूषण भीमराज राय ने अभी भी यूरिया के अत्यधिक प्रयोग पर चिंता व्यक्त करते हुए बताया कि इससे मिट्टी का पीएच मान काम हो रहा है। अर्थात मिट्टी अम्लीय हो रही है इस दिशा में और ज्यादा लोगों को जागरूक करने की आवश्यकता है।

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कार्यक्रम में उपस्थित अटारी के प्रधान वैज्ञानिक डीवी सिंह ने सुझाव दिया के किसानों के दिशा और दशा को बदलने के लिए जिले में पशुपालन मछली पालन के साथ ही बागवानी फसलों पर विशेष प्रशिक्षण एवं मार्गदर्शन देने की आवश्यकता है। क्योंकि इन्हीं के माध्यम से किसानों की आय में तेजी से विकास होने की अपार संभावनाएं दिख रही है। अतः केंद्र को अपनी योजनाओं में इन विषयों को प्राथमिकता के आधार पर जोड़ते हुए कार्य योजना को अंतिम रूप देना जिले के विकास के लिए आवश्यक होगा।

वरिष्ठ बैंक प्रबंधक मध्य बिहार ग्रामीण बैंक मदन पांडे ने बताया कि बैंक सदैव किसानों के लिए तत्पर है आवश्यकता है। सही परियोजना और उससे संबंधित प्रशिक्षण की अगर यह दोनों चीज सही है तो बैंक सदैव उन्हें ऋण देने में किसी भी प्रकार की कमी नहीं करेगा। सुधा डेयरी के प्रबंधक ने जानकारी दी कि उनके द्वारा किसानों के लिए चारा उत्पादन जागरूकता शिविर तथा पशु स्वास्थ्य जांच शिविर नियमित रूप से चलाए जाते हैं। कृषि विज्ञान केंद्र के सहयोग से इन कार्यक्रमों को और बल दिया जाएगा।

इस कार्यक्रम में महिला कृषक विद्या रानी सिंह ने मशरूम सूखने के लिए आधुनिक मशीनों की आवश्यकता पर बल दिया एवं मांग की की इसकी उपलब्धता करने की दिशा में प्रयास किया जाए। महिला उद्यमी सुनीता कुमारी गन्ना उद्योग विभाग परियोजना निदेशक आत्मा राणा राजीव रंजन सिंह प्रखंड उद्यान पदाधिकारी के अतिरिक्त जिले के विभिन्न क्षेत्रों से प्रगतिशील किसान तथा मटर उत्पादक संगठन के निर्देशक कौशल सिंह ड्रोन सेवा प्रदाता आदित्य सिंह खेसरहिया बीज उत्पादक किसान प्रवीण कुमार सिंह खेसरिया के सेवा प्रदाता किसान संजीव कुमार सिंह के साथ अन्य उपस्थित जनों ने अपने विचार भी रखें और केंद्र के बेहतर कार्यक्रमों की सराहना की।

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नेहा गुप्ता की रिपोर्ट

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