पटना : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा राज्य के मंत्रियों को विभागों का बंटवारा कल यानी 21 नवंबर को हो गया। एक दिन बाद आज यानी 22 नवंबर को बिहार विधानसभा अध्यक्ष पद के लिए लामबंदी तेज हो गई है। सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) के सूत्रों ने शनिवार को यह बात कही। उन्होंने कहा कि गया टाउन विधानसभा सीट से लगातार 9वीं बार चुने गए भारतीय जनता पार्टी (BJP) विधायक डॉ. प्रेम कुमार को अध्यक्ष पद का प्रबल दावेदार माना जा रहा है क्योंकि वह पार्टी के सबसे वरिष्ठ नेताओं में से एक हैं।
JDU के विधायक दामोदर रावत का नाम भी चर्चा में है
वहीं, झाझा से जनता दल यूनाइटेड (JDU) के विधायक दामोदर रावत का नाम भी चर्चा में है। सूत्रों ने बताया कि जल्द ही विधानसभा का एक विशेष सत्र बुलाया जाएगा ताकि सभी 243 निर्वाचित सदस्य शपथ ले सकें और अध्यक्ष का चुनाव कर सकें। उन्होंने कहा कि विशेष विधानसभा सत्र शुरू करने की तारीख 25 नवंबर को होने वाली राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में तय की जाएगी।
सदस्यों के शपथ लेने के बाद होगा विधानसभा अध्यक्ष का होगा चुनाव
एनडीए के एक घटक दल के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि राज्यपाल सबसे पहले ‘प्रोटेम स्पीकर’ नियुक्त करेंगे जो नवनिर्वाचित सदस्यों को शपथ दिलाएंगे। सदस्यों के शपथ लेने के बाद विधानसभा अध्यक्ष का चुनाव होगा। सूत्रों ने बताया कि एनडीए के दोनों मुख्य घटक दल बीजेपी और जदयू विधानसभा अध्यक्ष पद पर नजर गड़ाए हुए हैं।
अब गठबंधन सहयोगियों के बीच विधानसभा अध्यक्ष पद के लिए लामबंदी तेज हो गई है – JDU नेता
जदयू के एक नेता ने कहा कि अब गठबंधन सहयोगियों के बीच विधानसभा अध्यक्ष पद के लिए लामबंदी तेज हो गई है। उनकी बात का समर्थन करते हुए बीजेपी के एक अंदरूनी सूत्र ने कहा कि लामबंदी जारी है। हमारे सबसे वरिष्ठ विधायक प्रेम कुमार विधानसभा अध्यक्ष पद की दौड़ में सबसे आगे हैं। पिछली एनडीए सरकार में सहकारिता मंत्री रहे प्रेम कुमार ने इस बार कांग्रेस उम्मीदवार अखौरी ओंकार नाथ को 26,423 मतों के अंतर से हराया। वह 2015 से 2017 तक बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष भी रहे। जदयू के सूत्रों ने बताया कि झाझा से विधायक दामोदर रावत का भी नाम इस पद को लेकर चर्चा में हैं।
नंद किशोर यादव अध्यक्ष थे, JDU के नरेंद्र नारायण यादव उपाध्यक्ष थे
आपको बता दें कि निवर्तमान विधानसभा में बीजेपी नेता नंद किशोर यादव अध्यक्ष थे, जबकि जदयू के नरेंद्र नारायण यादव उपाध्यक्ष थे। सूत्रों ने कहा कि जदयू नेताओं का एक वर्ग मानता है कि चूंकि बीजेपी के अवधेश नारायण सिंह राज्य विधान परिषद के सभापति हैं, इसलिए विधानसभा अध्यक्ष का पद नीतीश कुमार की पार्टी को मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि बीजेपी उपाध्यक्ष का पद ले सकती है।
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