डिजिटल डेस्क : Budget 2025 में बिहार को तोहफा देने मिथिलांचल से तोहफे में मिली साड़ी पहन संसद पहुंची वित्त मंत्री। शनिवार को संसद में Budget 2025 पेश करने के लिए केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का रूटीन गेटअप भी संसद के गलियारे में चर्चा का विषय बना।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण Budget 2025 पेश करने के लिए बिहार के मिथिलांचल की पद्मश्री चित्रकार दुलारी देवी से तोहफे में मिली साड़ी पहनकर राष्ट्रपति भवन, कैबिनेट मीटिंग और संसद भवन में पहुंची।
Budget 2025 में बिहार के मोदी सरकार के खजाने का पिटारा खुलने के पीछे भी वित्त मंत्री द्वारा शनिवार को पहनी गई साड़ी चर्चा के केंद्र में रहा। मधुबनी कला से सजी क्रीम रंग की यह खास साड़ी भारत की समृद्ध कला सौंदर्य को दर्शाती है।
Budget 2025 के लिए राष्ट्रपति ने वित्त मंत्री खिलाया दही-चीनी…
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को रिकॉर्ड आठवां लगातार बजट पेश करने से पहले केंद्रीय वित्त मंत्रालय पहुंचीं। वित्त मंत्री के साथ वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी भी साथ रहे। वित्त मंत्री ने आज मधुबनी आर्ट की साड़ी पहनी। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त मंत्रालय से राष्ट्रपति भवन पहुंचीं।
राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात वित्त मंत्री ने उन्हें बजट के अहम प्रावधानों और बदलावों की जानकारी दी। यह परंपरा है, जिसमें राष्ट्रपति की मंजूरी ली जाती है। राष्ट्रपति ने वित्त मंत्री का दही चीनी खिलाकर मुंह मीठा कराया। साथ में नाश्ता भी किया। राष्ट्रपति भवन से वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद भवन के लिए रवाना हुईं। फिर लोकसभा में 11 बजे बजट पेश किया।
Budget 2025 में चर्चा में आईं बिहार की चित्रकार दुलारी देवी को जानें…
आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में आम बजट 2025 पेश करने पहुंचीं, तो उनकी साड़ी ने सभी की निगाहें अपनी ओर खींची। उन्होंने मधुबनी कला से सजी क्रीम रंग की एक खास साड़ी पहनी थी। वित्त मंत्री की ये साड़ी इसीलिए और भी ज्यादा खास है क्योंकि यह न सिर्फ भारत की कला को पेश करती है, बल्कि इसको बिहार की मशहूर मधुबनी चित्रकार पद्मश्री दुलारी देवी ने तैयार किया है।
इस आर्ट की प्रमुख कलाकार दुलारी देवी हैं, जिन्हें सरकार ने साल 2021 में पद्मश्री से सम्मानित किया था। बिहार के मधुबनी जिले में जन्मीं दुलारी देवी मछुआरा समुदाय से आती हैं, जहां महिलाओं का कला से कोई संबंध नहीं था।
दुलारी देवी के जीवन में ऐसा नहीं हुआ कि वो बचपन से ही मधुबनी सीखने और चित्र करने की शौकीन हो या उन्होंने बचपन से ही इसको सीखा हो। बल्कि परिस्थितियों ने उन्हें मधुबनी से मिलाया और यहीं से उन्होंने इसको अपनी पहचान बनाने का साधन बना लिया और कामयाबी के शिखर पर चढ़ती चली गई।
संघर्ष, परंपरा और कला की अद्भुत यात्रा की कहानी है दुलारी देवी की यह साड़ी…
दुलारी देवी की छोटी उम्र में शादी हो गई थी और महज 16 साल की उम्र में उन्हें उनके पति ने छोड़ दिया था। इससे भी बड़ा दुख तब मिला जब उन्होंने अपने बच्चे को खो दिया था। उसके बाद अपनी जिंदगी जीने के लिए उन्होंने 16 सालों तक एक घरेलू नौकरानी के रूप में काम किया।
लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। जिस घर में वो नौकरानी थीं, वहां प्रसिद्ध मधुबनी चित्रकार कर्पूरी देवी रहती थीं। उन्हें देखकर दुलारी देवी को भी इस कला में दिलचस्पी पैदा हुई। उन्होंने धीरे-धीरे चित्रकारी सीखनी शुरू किया और यहीं से उनकी प्रतिभा को कामयाबी की राह मिली। अपनी मेहनत और प्रतिभा के बल पर वो राष्ट्रीय स्तर की कलाकार बन गईं और उन्हें पद्मश्री से नवाजा गया।
दुलारी देवी की मधुबनी चित्रकारी सिर्फ रंगों का संगम नहीं है, बल्कि समाज में जागरूकता फैलाने का एक जरिया भी है। उन्होंने अब तक 10,000 से अधिक पेंटिंग्स बनाई हैं, जिनमें वो बाल विवाह, एड्स जागरूकता, भ्रूण हत्या जैसे मुद्दों को उकेरने का काम करती हैं।
उनकी कला न सिर्फ बिहार बल्कि पूरे देश में प्रदर्शनी का हिस्सा बन चुकी है। इतना ही नहीं, उन्होंने 1,000 से अधिक विद्यार्थियों को भी मधुबनी की ट्रेनिंग दी और मधुबनी कला की विरासत को आगे बढ़ाने का काम किया।
Budget 2025 की प्रस्तुति देख भावुक हुईं बिहार की दुलारी देवी…
इस क्रम में जानना जरूरी है कि पद्मश्री दुलारी देवी की तैयार की हुई यह साड़ी सिर्फ एक साड़ी नहीं है, बल्कि संघर्ष, परंपरा और कला की अद्भुत यात्रा की कहानी है। दुलारी देवी ने वित्त मंत्री को यह साड़ी गिफ्ट की थी। दुलारी देवी ने वित्त मंत्री से यह साड़ी गिफ्ट करते वक्त कहा था कि वो यह साड़ी पहनकर बजट 2025 पेश करें।
दुलारी देवी ने निर्मला सीतारमण को यह साड़ी तब गिफ्ट की थी जब वो मिथिला कला संस्थान में क्रेडिट आउटरीच के लिए मधुबनी के दौरे पर गई थीं। खास बात यह कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण भारतीय हस्तकला और हैंडलूम को हमेशा बढ़ावा देती आई हैं।
इस साल जब उन्होंने बजट पेश करने के दौरान दुलारी देवी की बनाई मधुबनी साड़ी पहनी, तो यह न केवल एक कलाकार का सम्मान था, बल्कि भारत की सांस्कृतिक धरोहर को भी सलाम था और उन्होंने न सिर्फ देश बल्कि पूरी दुनिया को बड़ा संदेश दिया।
साथ ही पीएम मोदी की मेक इन इंडिया की पहल को भी आगे बढ़ाने का काम किया। इस ऐतिहासिक मौके पर दुलारी देवी ने भावुक होकर कहा, ‘मैंने कभी नहीं सोचा था कि मेरी बनाई कला संसद तक पहुंचेगी, यह मेरे लिए किसी आशीर्वाद से कम नहीं है’।