रांची: अनिल टाइगर की हत्या में शामिल शूटर रोहित वर्मा और अमन सिंह के खिलाफ पिठौरिया थाना में प्राथमिकी दर्ज की गई है। दोनों अपराधी पुंदाग के रहने वाले हैं। पुलिस उनकी तलाश में लगातार छापेमारी कर रही है, लेकिन अभी तक अमन सिंह फरार है। इसी बीच, अनिल टाइगर की पत्नी लता देवी ने भी दो अपराधियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है, जिसके बाद पुलिस ने मामले की गहराई से जांच शुरू कर दी है।
पुलिस और अपराधियों के बीच मुठभेड़
कांके थाना के जेएसआई रौशन कुमार सिंह के बयान के आधार पर दर्ज प्राथमिकी में बताया गया है कि अनिल टाइगर की हत्या के बाद दोनों अपराधी बाइक से पिठौरिया रोड की ओर भाग रहे थे। पुलिस टीम उनके पीछे थी और राहू पुल के पास बलवापानी गांव की ओर सड़क पर उन्हें घेर लिया गया। खुद को घिरता देख अपराधियों ने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी, जिससे एक गोली डीएसपी मुख्यालय एक की गाड़ी में जाकर लगी। जवाबी कार्रवाई में डीएसपी के अंगरक्षक सुनील कुमार पांडेय ने दो राउंड फायरिंग की, जिससे पीछे बैठे अपराधी के पैर में गोली लगी और वह बाइक से गिर पड़ा। पुलिस ने उसे मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया। पकड़े गए अपराधी की पहचान रोहित वर्मा के रूप में हुई, जिसके पास से एक लोडेड पिस्टल बरामद की गई।
हत्या की साजिश और अमन सिंह की भूमिका
पुलिस पूछताछ में गिरफ्तार रोहित वर्मा ने बताया कि मुख्य शूटर अमन सिंह दो महीने से अनिल टाइगर की हत्या की योजना बना रहा था। हत्या का प्लान पुंदाग के आईएसएम चौक स्थित गली नंबर 3 में बना था, जहां अमन सिंह किराए के मकान में रहता था। रोहित ने स्वीकार किया कि उसने भी इस साजिश में भाग लिया था और हत्या के दिन मौके पर मौजूद था।
इस हत्याकांड के पीछे लोहरदगा निवासी संतु पासवान से अनिल टाइगर के संबंधों को मुख्य कारण बताया जा रहा है। संतु पासवान के भाई मंगलू की हत्या के बाद पुलिस ने सुभाष समेत अन्य लोगों को जेल भेज दिया था। जेल से छूटने के बाद सुभाष ने अमन सिंह के साथ मिलकर संतु पासवान की हत्या की योजना बनाई थी। 14 जनवरी को यह अपराधी लोहरदगा पहुंचे थे, लेकिन संतु बच गया, जबकि सुभाष मारा गया। इसके बाद अमन सिंह को शक हुआ कि संतु पासवान को अनिल टाइगर का समर्थन प्राप्त है। इसी संदेह के चलते अमन सिंह ने अनिल टाइगर की हत्या कर दी।
भूमि विवाद का एंगल भी आया सामने
मामले की जांच में यह भी सामने आया है कि अनिल टाइगर का चामगुरू गांव में 10 एकड़ जमीन को लेकर कुछ लोगों से विवाद चल रहा था। ग्रामीणों ने इस जमीन पर दावा किया था, जबकि दूसरे पक्ष ने उस पर कब्जा जमा रखा था। टाइगर इस मामले में लोगों को समझाने का प्रयास कर रहे थे। कुछ महीने पहले इस जमीन को लेकर उनका विवाद भी हुआ था। पुलिस इस एंगल से भी जांच कर रही है कि क्या भूमि विवाद हत्या की मुख्य वजह हो सकता है।
संतु पासवान से पूछताछ जारी
हत्या के तार संतु पासवान से जुड़े होने की आशंका के बाद पुलिस ने उसे हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है। हालांकि, संतु पासवान ने अनिल टाइगर की हत्या से किसी भी तरह के संबंध से इनकार किया है। वह लोहरदगा स्टैंड में ठेकेदारी का काम करता है। जब पुलिस ने उसे अनिल टाइगर की तस्वीर दिखाकर पहचानने के लिए कहा, तो उसने अनभिज्ञता जाहिर की।
एसआईटी गठित, शूटर अमन सिंह की तलाश जारी
रांची के डीआईजी सह एसएसपी चंदन सिन्हा ने ग्रामीण एसपी सुमीत कुमार अग्रवाल के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया है। पुलिस की टीम ने कांके, रातू, पुंदाग और लोहरदगा के विभिन्न इलाकों में छापेमारी की। पुलिस ने 7 संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है।
पुलिस अब टेक्निकल सेल की मदद से उन मोबाइल नंबरों की जानकारी निकाल रही है, जिनसे अनिल टाइगर ने हत्या से पहले बातचीत की थी। शूटर अमन सिंह की गिरफ्तारी के लिए पुंदाग स्थित उसके घर और अन्य संभावित ठिकानों पर छापेमारी जारी है।