Patna- फुलवारीशरीफ के अहमद पैलेस से आतंकी गतिविधियों में शामिल झारखंड पुलिस से सेवानिवृत्त सब इंस्पेक्टर मोहम्मद जलालुद्दीन
और अतहर परवेज की गिरफ्तारी के मामले में एसएसपी मानवजीत सिंह ने दावा किया है कि दोनों संदिग्धों के तार कई देशों से जुड़े हैं.
सेवानिवृत सब इंस्पेक्टर मोहम्मद जलालुद्दीन और अतहर परवेज अशिक्षित और गुमराह छात्रों से संपर्क साध कर आतंकी गतिविधियों
का प्रशिक्षण देता था. इनका मुख्य निशाना मस्जिद और मदरसा के युवाओं को मोबिलायज करना था.
जिस प्रकार आरएसएस की शाखाओं में शारीरिक प्रशिक्षण दिया जाता है, उसकी तर्ज पर इनके द्वारा
भी इन गुमराह युवाओं को शारीरिक प्रशिक्षण दिया जाता था.
केरल, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश ,तमिलनाडु के छात्र आते थें यहां
पटना एसएसपी मानवजीत सिंह ने बतलाया है कि बिहार सहित देश के दूसरे हिस्सों से युवाओं को पटना बुलाकर ट्रेनिंग दिया जाता था.
केरल, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश ,तमिलनाडु के छात्र भी यहां आते थें.जैसे ही पुलिस को प्रशिक्षण दिये जाने की जानकारी मिली, बैगर देरी
किये छापेमारी कर दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया. छापेमारी के दौरान कई ऐसे दस्तावेज मिले जिस से ये साबित होता है कि ये लोग
देश की एकता को तोड़ना चाहते थे और भारत को एक इस्लामिक देश बनाना चाहते थे,
पुलिस ने इस मामले में तीन और लोगों को गिरफ्तार किया है.
पुलिस को चकमा देने के लिए पीएसआई और एसडीपीआई के झंडे का होता था इस्तेमाल
बतलाया जा रहा है कि पुलिस से बचने के लिए इनके द्वारा पीएसआई और एसडीपीआई पार्टी के झंडे का इस्तेमाल किया जा रहा था.
पटना के गांधी मैदान में बम ब्लास्ट में गिरफ्तार आतंकवादियों के लिए बेलर काम भी किया था.
पुलिस को इनके पास से करीब 75 लाख रुपए के ट्रांजैक्शन के प्रमाण मिले है.
पुलिस गिरफ़्तार जलालुद्दीन और अतहर परवेज़ के तार कहां- कहां
से जुड़े है,इसकी पूरी पड़ताल में लगी है.
एडीजी पुलिस मुख्यालय जितेंद्र सिंह गंगवार ने कहा है कि पूरे मामले की गहराई से जांच की जा रही है.
बिहार आईबी और पटना पुलिस के साथ एटीएस की टीम भी अपने-अपने स्तर से अनुसंधान करने में जुटी है.
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