नवादा : नवादा जिले के रजौली मुख्यालय स्थित 75 शैय्या अनुमंडलीय अस्पताल में कोरोना काल में लाखों रुपयों खर्च के बाद स्थापित ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट विगत कई महीनों से बंद पड़ा हुआ है। इससे अस्पताल में सांस एवं गंभीर रूप से घायल मरीजों को ऑक्सीजन देने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट के सफल संचालन के लिए एक टेक्नीशियन की भी बहाली की गई थी, जो बीते कई माह से फरार चल रहा है।
कोरोना काल के दौरान जब रजौली समेत पूरा देश कोविड-19 जैसे घातक वायरस के संक्रमण से त्रस्त था
आपको बता दें कि कोरोना काल के दौरान जब रजौली समेत पूरा देश कोविड-19 जैसे घातक वायरस के संक्रमण से त्रस्त था। उस दौरान पीएम केयर फंड से लाखों रुपयों की लागत से अनुमंडलीय अस्पताल में वर्ष 2021 में ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट स्थापित किया गया था। साथ ही अस्पताल के सभी 75 बेडों पर पाइप के जरिए ऑक्सीजन की सप्लाई की जा रही थी। किंतु ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट से सप्लाई होने वाले पाइप में महज कुछ दिनों बाद एक लीकेज हो गया, जिसकी मरम्मती आज तक नहीं करवाई गई है। इस कारण प्लांट को चलाने वाला टेक्नीशियन भी बीते लगभग छह महीनों से अस्पताल से फरार है। इसका खामियाजा अस्पताल आने वाले गंभीर रूप से बीमार और सड़क दुर्घटना में घायल मरीजों को भुगतना पड़ रहा है।
ऑक्सीजन प्लांट के खराब होने के बाद एक-एक करके 3 ऑक्सीजन कॉन्सन्ट्रेशन मशीन लाया गया
वहीं ऑक्सीजन प्लांट के खराब होने के बाद एक-एक करके तीन ऑक्सीजन कॉन्सन्ट्रेशन मशीन लाया गया। जिसमें दो खराब पड़ा हुआ है और एक कार्यरत है। अस्पताल में मरीजों को मिलने वाली सुविधाओं की देखभाल हेतु बीते तीन जुलाई को छह सदस्यीय टीम बनाया गया था। किंतु समिति की निष्क्रियता के कारण मरीजों को लाभ नहीं मिल पा रहा है।
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मामला संज्ञान में आया है – सिविल सर्जन डॉ. विनोद कुमार चौधरी
इस बाबत नवादा के सिविल सर्जन डॉ. विनोद कुमार चौधरी ने बताया कि मामला संज्ञान में आया है। संबंधित पदाधिकारी को ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट के सुचारू रूप से संचालन के लिए आवश्यक निर्देश दिए गए हैं। साथ ही आश्वासन दिया कि जल्द ही ऑक्सीजन प्लांट का संचालन पुनः शुरू होगा।
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अनिल कुमार की रिपोर्ट
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