डिजिटल युग ने जानकारी को हमारी उंगलियों पर ला दिया है। लेकिन हर जानकारी सही नहीं होती। आज “फेक न्यूज़” या झूठी खबरें उतनी ही तेज़ी से फैलती हैं जितनी सच की खबरें — और कई बार उनसे ज़्यादा। हाल ही में फिल्म अभिनेता धर्मेंद्र के निधन की झूठी खबर ने यही दिखाया कि एक झूठी सूचना कितनी तेज़ी से वायरल हो सकती है और उसका असर कितना गहरा होता है।
1️⃣ सोशल मीडिया पर फेक न्यूज़ का फैलाव
फेसबुक, एक्स (ट्विटर), व्हाट्सऐप और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म पर कोई भी व्यक्ति कोई भी बात बिना सबूत के शेयर कर सकता है। कुछ सेकंड में सैकड़ों-हज़ारों लोग उसे सच मान लेते हैं। यही कारण है कि अफवाहें अब “वायरल कंटेंट” बन गई हैं।
2️⃣ परिवार पर असर: मानसिक और भावनात्मक पीड़ा
जब किसी जीवित व्यक्ति के निधन की खबर फैलाई जाती है, तो उस व्यक्ति के परिवार को गहरा सदमा पहुँचता है। धर्मेंद्र जी के मामले में उनके परिवार ने इस झूठी खबर का तुरंत खंडन किया, लेकिन तब तक सोशल मीडिया पर सैकड़ों लोग “RIP” पोस्ट कर चुके थे। ऐसी घटनाएँ परिवार के लिए अत्यंत दुखद होती हैं।
3️⃣ समाज पर असर: अविश्वास और असंवेदनशीलता
फेक न्यूज़ से समाज में भरोसा खत्म होता जा रहा है। लोग हर खबर को शक की नजर से देखने लगे हैं। इससे मीडिया की विश्वसनीयता भी घटती है और नागरिकों के बीच असंवेदनशीलता बढ़ती है। एक झूठी मौत की खबर भी अब “मनोरंजन” का हिस्सा बन जाती है — यह हमारी संवेदना की गिरावट दर्शाती है।
4️⃣ हमारी जिम्मेदारी: सत्यापित करें, फिर साझा करें
हर व्यक्ति की जिम्मेदारी है कि वह किसी खबर को शेयर करने से पहले सत्यापित करे। विश्वसनीय स्रोतों जैसे समाचार एजेंसियों, परिवार के आधिकारिक अकाउंट्स या फैक्ट चेक वेबसाइट्स (जैसे PIB Fact Check, Alt News, Boom Live आदि) से जानकारी सुनिश्चित करनी चाहिए।
5️⃣ कानून क्या कहता है
भारतीय आईटी एक्ट (Information Technology Act, 2000) और भारतीय दंड संहिता (IPC) के तहत गलत सूचना फैलाने पर कार्रवाई हो सकती है। अगर कोई व्यक्ति जानबूझकर अफवाह फैलाता है जिससे किसी की प्रतिष्ठा या समाज की शांति को नुकसान पहुँचता है, तो उस पर सज़ा और जुर्माना दोनों लग सकते हैं।
6️⃣ निष्कर्ष: सोचें, फिर शेयर करें
फेक न्यूज़ का मुकाबला सरकार या प्लेटफॉर्म अकेले नहीं कर सकते। यह जिम्मेदारी हर यूज़र की है।
👉 सत्य साझा करें, अफवाह नहीं।
👉 शेयर करने से पहले एक बार सोचें।
👉 फैक्ट चेक करें और दूसरों को भी जागरूक करें।
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