Air India की कमान अब Tata Group के पास

हैंडओवर से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने की मुलाकात

नई दिल्‍ली : टाटा समूह ने गुरुवार को सरकार से आधिकारिक तौर पर एयर इंडिया (Air India) का अधिग्रहण कर लिया.

टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी होने पर खुशी जताते हुए कहा कि टाटा समूह में एयर इंडिया को वापस पाकर हम काफी रोमांचित हैं.

हम इसे विश्वस्तरीय एयरलाइन बनाने को प्रतिबद्ध हैं.

चंद्रशेखरन ने आधिकारिक हैंडओवर से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात की.

निवेश और लोक संपत्ति प्रबंधन विभाग के सचिव तुहीन कांता पांडे ने कहा, एयर इंडिया का रणनीतिक विनिवेश

लेनदेन आज सफलतापूर्वक संपन्न हुआ, जिसमें एयर इंडिया के 100 प्रतिशत शेयर प्रबंधन नियंत्रण

के साथ मैसर्स टैलेस प्राइवेट लिमिटेड को हस्तांतरित किए गए. स्ट्रैटेजिक पार्टनर के नेतृत्व में

एक नया बोर्ड एयर इंडिया का प्रभार लेता है.

Air India की कमान अब Tata Group के पास

सरकार ने पिछले साल अक्टूबर में एयर इंडिया की बिक्री के लिए टाटा समूह (Tata Group) के साथ 18,000 करोड़ रुपये में शेयर खरीद समझौता किया था.

सौदे में एयर इंडिया एक्सप्रेस और उसकी इकाई एआईएसएटीएस की बिक्री भी शामिल है.

हस्तांतरण प्रक्रिया से पहले, 24 जनवरी को निवेश और सार्वजनिक संपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) ने एयर इंडिया लिमिटेड

और एआई एसेट्स होल्डिंग लिमिटेड (एआईएएचएल) द्वारा और उनके बीच एयरलाइन की संपत्तियों

के हस्तांतरण के लिए किए गए समझौते की रूपरेखा को अधिसूचित किया.

एआईएएचएल की स्थापना 2019 में सरकार ने एयर इंडिया समूह की ऋण और गैर-प्रमुख संपत्ति रखने के लिए की थी.

एयर इंडिया की चार अनुषंगी – एयर इंडिया एयर ट्रांसपोर्ट सर्विसेस लिमिटेड, एयरलाइन अलाइड सर्विसेस लिमिटेड,

एयर इंडिया इंजीनियरिंग सर्विसेस लिमिटेड और होटल कॉर्पाेरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड के साथ-साथ

गैर प्रमुख संपत्तियों आदि को विशेष प्रयोजन इकाई में स्थानांतरित किया गया था.

ये बैंक ऋण देने पर जतायी सहमती

बता दें कि भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के नेतृत्व में ऋणदाताओं का एक संघ घाटे में चल रही

विमानन कंपनी एयर इंडिया के सुचारू परिचालन के लिए टाटा समूह को ऋण प्रदान करने पर सहमत हो गया है.

सूत्रों ने बताया कि एसबीआई के नेतृत्व वाला कंसोर्टियम एयर इंडिया की आवश्यकताओं के अनुसार निश्चित

अवधि और कार्यशील पूंजी ऋण दोनों देने पर सहमत हो गया है.

सूत्रों के अनुसार पंजाब नेशनल बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा और यूनियन बैंक ऑफ इंडिया सहित सभी बड़े

ऋणदाता कंसोर्टियम का हिस्सा हैं.

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