जनार्दन सिंह की रिपोर्ट
प्रयागराज : महाकुंभ में श्रद्धालुओं के सैलाब से प्रयागराज में महाजाम में फंसे श्रद्धालु, हांफ रहा प्रशासन…। महाकुंभ 2025 के लिए यहां 12 जनवरी को माघी पूर्णिमा से पहले बीते दो दिनों से लगातार उमड़ रहे श्रद्धालुओं के सैलाब का क्रम में निरंतर तीसरे दिन सोमवार को भी बना हुआ है।
इससे प्रयागराज में श्रद्धालुओं के सैलाब से महाजाम में फंसे तीर्थयात्री और श्रद्धालु रेंगते हुए जोश के साथ संगम में डुबकी लगाने को पूरे आस्था भाव से आगे बढ़ रहे हैं तो हालात को निरंतर काबू में बनाए रखने में पूरे पुलिस-प्रशासनिक तंत्र को साफ तौर पर हांफते हुए देखा जा रहा है।
गनीमत यही है कि तत्काल आपात व्यवस्था वाले वैकल्पिक योजना को अमल लाते हुए श्रद्धालुओं के सैलाब को निरंतर गतिमान बनाए रखने पर काम जारी है। आलम यह है कि हर घंटे हजारों वाहन वाराणसी, लखनऊ, कानपुर, कौशांबी, मिर्जापुर, रीवां, जौनपुर, प्रतापगढ़ की ओर से प्रयागराज आ रहे हैं। पुलिस प्रशासन को कई बार भदोही में लालानगर टोल प्लाजा को फ्री करना पडा। फिर भी लोग कई किलोमीटर तक पैदल चल रहे हैं।
मकर संक्रांति, मौनी अमावस्या और बसंत पंचमी अमृत स्नान के समाप्त होने और नागा साधुओं की संगम क्षेत्र से विदाई के बाद माना जा रहा था कि भीड़ कम होगी। बीते 5 फरवरी तक संगम नगरी में VIP प्रोटोकॉल को बंद कर दिया गया था। लेकिन, PM नरेंद्र Modi के 5 फरवरी को संगम में स्नान के बाद से लगातार VIP मूवमेंट फिर से बढ़ गया है। हर रोज कोई न कोई VVIP संगम स्नान के लिए पहुंच रहा है। VIP प्रोटोकॉल लागू होने के कारण भी प्रयागराज शहर में जाम जैसी स्थिति बन रही है।
प्रयागराज में श्रद्धालुओं के सैलाब से बना महाजाम का नजारा…
महाकुंभ में 144 साल बाद बने संयोग को लेकर लोगों में जबर्दस्त उत्साह देखते बन रहा है। जाम का आलम यह है कि नेशनल हाईवे से लेकर प्रयागराज शहर में भी गाड़ियां दो दिनों से रेंग रही हैं। शहर से जुड़े सभी सड़कों पर जाम के कारण लोगों को मेला पहुंचने के लिए 20 से 25 किलोमीटर पैदल चलना पड़ रहा है। प्रयागराज महाकुंभ मेला को लेकर आस्था के उबाल ने स्थानीय लोगों की परेशानी बढ़ा दी है। सड़क पर निकलना मुश्किल हो रहा है।
प्रयागराज की तमाम सड़कों पर दिनभर जाम जैसी स्थिति बन रही है। महाकुंभ में पावन स्नान के लिए श्रद्धालुओं की उमड़ रही भारी भीड़ निरंतर बढ़ती जा रही है। वाहनों के कारण पूरा प्रयागराज जाम से जूझ रहा है। महाकुंभ आने के लिए प्रमुख हाइवे 9 हैं, जो हजारों वाहनों से जाम हुए पड़े हैं। हालत बद से बदतर हो चुके हैं। हालत यह है कि 5 किलोमीटर की दूरी लगभग 2 घंटे में पूरी हो रही है।
![संगम में सपरिवार डुबकी लगाते उत्तराखंड के सीएम](https://i0.wp.com/22scope.com/wp-content/uploads/2025/02/%E0%A4%B8%E0%A4%82%E0%A4%97%E0%A4%AE-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%B8%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B0-%E0%A4%A1%E0%A5%81%E0%A4%AC%E0%A4%95%E0%A5%80-%E0%A4%B2%E0%A4%97%E0%A4%BE%E0%A4%A4%E0%A5%87-%E0%A4%89%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%96%E0%A4%82%E0%A4%A1-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%8F%E0%A4%AE.jpg?resize=354%2C257&ssl=1)
प्रयागराज को जोड़ने वाली सभी प्रमुख हाइवे पर जाम जैसी स्थिति दिख रही है। वाराणसी, जौनपुर, मिर्जापुर, कौशांबी, प्रतापगढ़, रीवा और कानपुर रोड पर वाहनों का लंबा रेला दिख रहा है। बच्चे और महिलाएं भूखे रहने के बाद भी मेला पहुंचने को आतुर दिख रहे हैं। प्रशासन की ओर से हाईवे के किनारे बनाए गए तमाम पार्किंग स्थल फुल हो चुके हैं।
जाम की स्थिति यह है कि सिविल और ट्रैफिक पुलिस के साथ अर्द्धसैनिक बलों को तैनात करना पड़ा है। टोल प्लाजा से मिले डाटा के आधार पर लखनऊ हाइवे से प्रयागराज आने वाले वाहनों की प्रति घंटा संख्या 1500 से 2000 हैं। इनके अलावा वाराणसी हाइवे से करीब 1500 वाहन, रीवां-चित्रकूट हाइवे की ओर से लगभग 2000 वाहन आ रहे हैं।
एसपी अभिमन्यु मांगलिक के मुताबिक, प्रयागराज की ओर हाईवे से 24 घंटे में 40 हजार वाहन, वहीं वाराणसी की ओर से 20 हजार वाहन गए हैं।
![महाकुंभ पर प्रयागराज में जाम के झाम का नजारा।](https://i0.wp.com/22scope.com/wp-content/uploads/2025/02/%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%95%E0%A5%81%E0%A4%82%E0%A4%AD-%E0%A4%AA%E0%A4%B0-%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%97%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9C-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%AE-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%9D%E0%A4%BE%E0%A4%AE-%E0%A4%95%E0%A4%BE-%E0%A4%A8%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A5%A4.jpg?resize=696%2C462&ssl=1)
तालमेल की कमी, जानकारी का अभाव और पार्किंग फुल होने से लगा महाजाम…
महाकुंभ 2025 में आज लगातार तीसरे श्रद्धालुओं – तीर्थयात्रियों के सैलाब के भारी दबाव से भयंकर महाजाम में फंसे प्रयागराज के हालात के पीछे कुछ खास कारण भी सामने आए हैं। सबसे अहम तो यह कि सड़कों पर फंसे श्रद्धालुओं को सही सूचना नहीं मिल रही है। सही रास्ता बताने के लिए साइनेज का अभाव है। इस कारण वाहन चालक एक-दूसरे को देखते हुए आगे बढ़ते जाते हैं।
भीड़ बढ़ने पर बैरिकेडिंग लगाकर भीड़ को रोक दिया जाता है। अगर समय से स्थिति को नियंत्रित करें तो हालात काबू में रहेंगे। प्रयागराज मेला प्रशासन की ओर से अमृत स्नान के समय में पड़ोसी जिलों के साथ तालमेल बैठाकर भीड़ को नियंत्रित किया गया। लेकिन, अब वाहनों को बॉर्डर पर रोकने की कोई कार्ययोजना नहीं है। इससे शहर में वाहनों का दबाव लगातार बढ़ रहा है।
अब शहर में दबाव बढ़ा है तो समीप के जिला प्रशासन से वाहनों को रोकने की सूचना भेजी जा रही है। प्रयागराज महाकुंभ मेला को लेकर लगाए गए पुलिस, पीएसी के जवान और अर्द्धसैनिक बल दूसरे स्थानों से आए हैं। उन्हें महाकुंभ मेला क्षेत्र का भौगोलिक ज्ञान कम है। इस कारण जब भी कोई श्रद्धालु कुछ भी पूछता है तो धीरे-धीरे आगे बढ़ते रहें। यही जवाब मिलता है। इससे श्रद्धालु भी कई बार एक स्थान पर ठहर जाते हैं।
प्रयागराज को अन्य इलाकों से जोड़ने वाले सभी सात प्रमुख सड़कों पर 102 पार्किंग स्थल बनाए गए थे। तीनों स्नान पर्व खत्म होने के बाद इनकी संख्या घटाकर 36 कर दी गई। हालांकि, बसंत पंचमी के बाद भी तीर्थयात्रियों का दबाव कम होने का नाम नहीं ले रहा है। सड़कों पर वाहनों के आ जाने से जाम जैसी स्थिति बनी हुई है।
![महाकुंभ में उमड़ा श्रद्धालुओं के सैलाब का दृश्य।](https://i0.wp.com/22scope.com/wp-content/uploads/2025/02/%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%95%E0%A5%81%E0%A4%82%E0%A4%AD-2025-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%87%E0%A4%B8-%E0%A4%B8%E0%A4%AE%E0%A4%AF-%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%97%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9C-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%AE%E0%A5%A4.jpg?resize=696%2C449&ssl=1)
प्रयागराज में हालात को काबू में रखने को आपात व्यवस्थाएं की गईं लागू…
महाकुंभ में संगम स्नान को लेकर श्रद्धालुओं – तीर्थयात्रियों के आस्था के ज्वार के चलते लगातार तीसरे दिन बने महाजाम में फंसे प्रयागराज में पहले से ही तैयार आपातकालीन व्यवस्थाओं को तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है। मकसद यह है कि भीड़ के प्रवाह को निरंतर गतिमान रखते हुए किसी भी स्थान पर विशेष दबाव न बनने दिया जाए जिससे की हालात लगातार नियंत्रित रहे और क्रमश: भीड़ का दबाव धीरे-धीरे कम होता रहे।
बीते रविवार शाम को प्रयागराज जंक्शन की तरफ भीड़ बढ़ने लगी तो रेलवे के साथ पुलिस-प्रशासन सतर्क हुआ। प्रयागराज जंक्शन पर मौनी अमावस्या वाली इमरजेंसी योजना लागू कर दी गई। भीड़ को सीधे जंक्शन पहुंचने से रोका गया। उन्हें खुसरोबाग में डायवर्ट किया गया। भीड़ को देखते हुए ऑन डिमांड ट्रेनें चलाई गई।
मकर संक्रांति से अधिक विशेष ट्रेनों का संचालन रविवार को करना पड़ा। मकर संक्रांति स्नान पर्व पर 101 विशेष ट्रेनें चलाई गई थी। वहीं, रविवार को 107 विशेष ट्रेनों का संचालन किया गया। रेलवे ने प्रयागराज संगम रेलवे स्टेशन को 14 फरवरी तक बंद कर दिया है। भीड़ नियंत्रण को लेकर यह फैसला लिया गया।
दरअसल, रविवार को बिना किसी स्नान पर्व के ही भीड़ उमड़ने की स्थिति को लेकर यह व्यवस्था की गई। उत्तर रेलवे के सीनियर डीसीएम कुलदीप तिवारी ने कहा कि प्रशासन से बातचीत के बाद रेलवे ने संगम स्टेशन को बंद करने का फैसला लिया।