रांची: अग्नि सुरक्षा और प्रतिक्रिया उपायों को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, झारखंड राज्य सरकार शुक्रवार को विधानसभा में झारखंड अग्निशमन सेवा विधेयक 2024 पेश करने जा रही है। यह विधेयक एक महत्वपूर्ण बदलाव का लाएगा, क्योंकि यह अग्निशमन विभाग को वे शक्तियां और ज़िम्मेदारियां प्रदान करेगा, जिनकी पिछले 24 वर्षों से कमी थी।
अब तक, झारखंड अग्निशमन विभाग की भूमिका मुख्य रूप से आग बुझाने तक ही सीमित थी। विभाग के पास पूर्व-निरीक्षण, जवाबदेही या घटना के बाद की कार्रवाई करने का कोई अधिकार नहीं था। इस विधेयक के आने से विभाग को इन कमियों को दूर करने का अधिकार मिलेगा, जिससे वह सक्रिय उपाय करने और अग्नि सुरक्षा नियमों को अधिक प्रभावी ढंग से लागू करने में सक्षम होगा।
झारखंड अग्निशमन सेवा विधेयक 2024 के प्रमुख प्रावधानों में शामिल हैं
- अग्नि सुरक्षा निरीक्षण विभाग वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों और बहुमंजिला इमारतों में निरीक्षण करेगा, और आग के जोखिमों को कम करने के लिए प्रबंधन को मार्गदर्शन प्रदान करेगा।
- प्रशिक्षण कार्यक्रम: विधेयक में आग की रोकथाम, अग्निशमन तकनीक और सुरक्षा प्रोटोकॉल में प्रशिक्षण अनिवार्य किया गया है।
- विनियामक उपाय: यह उच्च जोखिम वाले स्थानों पर अग्नि सुरक्षा नियमों को लागू करेगा और प्रमुख सार्वजनिक और निजी कार्यक्रमों के लिए अतिरिक्त सुरक्षा प्रदान करेगा।
- आपातकालीन सेवाएँ: विधेयक में सड़क दुर्घटनाओं, इमारत ढहने, प्राकृतिक आपदाओं, औद्योगिक खतरों और विषाक्त उत्सर्जन सहित विभिन्न आपात स्थितियों से निपटने के लिए व्यापक प्रावधान शामिल हैं।
विधेयक के पीछे प्राथमिक उद्देश्य राज्य के अग्नि सुरक्षा बुनियादी ढांचे को बढ़ाना, आग से संबंधित घटनाओं के जोखिम को कम करना और जान-माल के नुकसान को कम करना है। अग्निशमन विभाग को इन नए अधिकारों और जिम्मेदारियों से लैस करके, सरकार का लक्ष्य झारखंड के लिए एक अधिक मजबूत और उत्तरदायी अग्नि सुरक्षा ढांचा तैयार करना है। विधेयक का परिचय आपदा तैयारी और आपातकालीन प्रतिक्रिया क्षमताओं को बेहतर बनाने, सभी निवासियों के लिए एक सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।