रांची:बटर चिकन का नाम सुनते ही जीभ में पानी और मुंह में स्वाद दोनों आ जाते हैं लेकिन इसके असली जन्मदाता की पहचान अब विवाद का विषय बन गया है किसने बनाया था पहले बटर चिकन दिल्ली हाई कोर्ट इसका जवाब खोज रहा है देखते हैं दिल्ली हाई कोर्ट को इसका जवाब मिलता है या नहीं।
बटर चिकन की लड़ाई अब कोर्ट तक आ गई है। मामला है बटर चिकन के जन्मदाता की पहचान का है दिल्ली हाई कोर्ट में बटर चिकन के असली जन्मदाता होने का दावें को लेकर कानूनी लड़ाई चल रही है।
यह मामला 2024 के जनवरी महिने से दिल्ली हाई कोर्ट में चल रहा है। इस मामले में रेस्तरां चेन मोती महल और दरियागंज ने खुद को बटर चिकन के असली जन्मदाता होने का दावा किया है।
मोती महल ने इस मामले में कोर्ट में 642 पन्नों में अपना जवाब और दावा पेश किया है। वहीं इस मामले में दरियागंज का दावा है कि उनके संस्थापक परिवार के सदस्य कुंदन लाल जग्गी ने असली बटर चिकन बनाया था।
इस विषय में मोती महल का कहना है कि उनके संस्थापक कुंदन लाल गुजराल ने 1930 के दशक में पेशावर (अब पाकिस्तान में) स्थित अपने रेस्तरां में सबसे पहले बटर चिकन बनाया था। बाद में वो दिल्ली आ गए।