नई दिल्ली : CBI Filed FIR in NEET UG Paper Leak Case – जिम्मेवारी मिलते ही एक्शन में सीबीआई, नीट यूजी पेपर लीक में दर्ज किया एफआईआर। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की ओर से नीट यूजी 2024 पेपर लीक मामले की जांच का जिम्मा मिलते ही सीबीआई एक्शन मोड में है। उसने इस मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करते हुए बिहार और झारखंड के अलावा गुजरात, महाराष्ट्र और यूपी की पुलिस से इनपुट जुटाना शुरू कर दिया। प्राथमिक तौर पर राज्यों में पुलिस ऱडार पर चल रहे आरोपियों की पेपर लीक संबंधी आपराधिक कुंडली को खंगालते हुए पूरे मामले में उनकी संलिप्तता का विश्लेषण किया जा रहा है। सीबीआई के अधिकारियों अभी सिर्फ अपने यहां एफआईआर किए जाने की ही पुष्टि की है और विस्तार से तत्काल कुछ भी कहने से इंकार किया। संकेत दिया है कि जल्द ही सारे तथ्य कार्रवाई के रूप सामने आएंगे।
नीट यूजी 2024 कराने वाले एनटीए अधिकारियों से पूछताछ करेगी सीबीआई
इस पेपर लीक मामले में बिहार और गुजरात पुलिस में दर्ज हो चुके केस को सीबीआई टेकओवर करने की प्रक्रिया को अंतिम रूप देते हुए रविवार को नया मामला दर्ज किया। इसके बाद अब राज्यों में गिरफ्तार हुए आरोपियों से पूछताछ करने के साथ ही अपने स्तर पर पूरे मामले की जांच करेगी। सीबीआई अधिकारियों ने संकेत दिया है कि नीट पेपर लीक मामले की जांच शुरू करने के साथ ही अलग-अलग राज्यों में सीबीआई ब्रांच की टीम अपने-अपने स्तर से अन्वेषण में जुट गई है। यही नहीं, राज्यों में अभी तक इस मामले में गिरफ्तार आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ करेगी। साथ नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) के जिन अधिकारियों ने नीट परीक्षा कंडक्ट करवाई थी, उन सभी से भी सीबीआई जल्द संपर्क करने की तैयारी में है ताकि इस मामले में उनका पक्ष जाना जा सके। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने कई दिन पहले ही इस जांच के लिए सीबीआई को तैयार रहने का संकेत दे दिया था क्योंकि इस पूरे मामले की शिकायतें कई राज्यों से लगातार मिल रही थीं। अब सीबीआई अधिकृत तौर पर इस मामले में जांच के लिए मैदान में उतर चुकी है। अधिकारियों ने स्वीकारा है कि सीबीआई ने देश भर की अपनी ब्रांचों को पहले ही इनपुट जुटाने के लिए बोल दिया था और उस पर लगातार काम जारी भी था।
नीट पेपर लीक में लिप्त मुख्य किरदार झारखंड और बिहार से
नीट यूजी 2024 के पेपर लीक में अब तक की जांच में लिप्त मिले मुख्य किरदार बिहार और झारखंड से हैं। परीक्षा प्रक्रिया की पवित्रता को दीमक की तरह खोखला करने वाले इन किरदारों में चिंटू, पिंटू, सिंटू, रॉकी, मुखिया आदि हैं जिन्होंने अपनी हरकतों से पूरे तंत्र को झकझोर कर रख दिया है। बिहार की आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) को अब तक जो सबूत हासिल हुए हैं, उनसे साफ है कि नीट पेपर लीक के तार झारखंड के हजारीबाग से पटना तक जुड़े थे। जांच टीम ने झारखंड से आए एक फोन कॉल के बाद एक डस्टर कार को ज़ब्त किया है। उसी डस्टर कार से गैंग के दूसरे सदस्यों का एवं तीन अन्य ठिकानों का पता चला जहां से जले हुए प्रश्न पत्र और अन्य सबूत मिले हैं। पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ के आधार पर ईओयू ने एक रिपोर्ट तैयार की है जिसमें पेपर लीक होने के तथ्य का खुलकर जिक्र किया गया है।
ईओयू के एडीजी की रिपोर्ट कह रही पेपर लीक की पूरी कहानी
ईओयू के एडीजी सैयद हसनैन खान ने बिहार नीट मामले में केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय को जांच रिपोर्ट सौंपी है, उसमें लिखा गया है कि नीट का पेपर लीक हुआ था। उसमें यह भी बताया गया है कि जो जले हुए प्रश्न पत्र के हिस्से मिले हैं, उनमें 68 प्रश्नों की सूची है, जिनकी फॉरेंसिक जांच हो रही है। उस रिपोर्ट में सिकंदर, अखिलेश और बिट्टू के के साथ 13 लोगों के गिरफ्तार होने का जिक्र है। साथ ही पूरे मामले में चार छात्रों के बयान, उनके रोल नंबर और बुकलेट को भी शामिल किया गया है। उसी रिपोर्ट में लिखा गया है कि पिंटू, चिंटू, सिंटू, रॉकी और फरार नालंदा निवासी संजीव मुखिया ने झारखंड के हजारीबाग में सबसे पहले साजिश रची। फिर दानापुर के एक सरकारी दफ्तर में तय हुआ कि नीट यूजी 2024 पेपर लीक कैसे करना है और उसमें क्या क्या किसका रोल होगा। इनके संपर्क वाले अभ्यर्थियों को पटना के सेफ हाउस में रखा गया था जहां पर प्रश्न और उत्तर रटवाए गए।
पेपर लीक के आरोपियों पटना के प्ले स्कूल को बनाया था सेफ हाउस
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय को बिहार ईओयू के चीफ ने जो रिपोर्ट सौंपी है, उसमें पेपर लीक में जुड़े आरोपियों के उस सेफ हाउस का जिक्र है, जो कि वास्तव में पटना का एक प्ले स्कूल है। सॉल्वरों ने उसे सेफ हाउस की तरह इस्तेमाल किया था। बीते 4 से 5 मई को वहीं पर 20 से 25 छात्र रुके थे और वहीं पर उन्हें प्रश्न पत्र दिए गए थे। उस प्ले स्कूल के आसपास रह रहे लोगों के मुताबिक, वहां सिर्फ कहने के लिए प्ले स्कूल है, लेकिन आज तक वह कभी खुला नहीं और ना ही कभी उसमें बच्चे आए। उसके बाद पुलिस ने झारखंड के नंबर की एक डस्टर कार भी बरामद की है, जिसमें अखिलेश और बिट्टू सवार थे। गत शनिवार को झारखंड से सॉल्वर सिंटू को गिरफ्तार किया गया। उससे पहले उसके साथी पिंटू गिरफ्तार किया गया था। दोनों की गिरफ्तारी देवघर से हुई है। सबसे पहले सिंटू और पिंटू के पास ही नीट का पेपर आया था एवं दोनों संजीव मुखिया गैंग से जुड़े हैं। जांच में नीट पेपर लीक के आरोप में गिरफ्तार सिकंदर कुमार यादवेंदु का रांची कनेक्शन भी सामने आया। रांची के हरमू रोड पर एक खेल सामग्री की दुकान उसके बेटे होमी आनंद की है।
भऱोसेमंद रिटायर्ड आईएएस प्रदीप सिंह खरोला को मिला एनटीए का प्रभार
नीट यूजी 2024 पेपर लीक संबंधी तथ्य सामने आते ही केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की गाज सबसे पहले यह परीक्षा आयोजित कराने वाली एनटीए पर गिरा। केंद्र सरकार ने एनटीए के प्रमुख सुबोध कुमार सिंह को उनके पद से हटाने के साथ ही उन्हें कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग में ‘अनिवार्य प्रतीक्षा’ पर रख दिया है। इसी के साथ केंद्र सरकार ने अपने भरोसेमंद रिटायर्ड आईएएस को इस नाजुक समय में एनटीए का प्रभार सौंपा है। भारत व्यापार संवर्धन संगठन के अध्यक्ष रिटायर्ड भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारी प्रदीप सिंह खरोला को एनटीए का अतिरिक्त प्रभार मिला है। वह इस पद पर नियमित डीजी की नियुक्ति या अगले आदेश तक बने रहेंगे। कर्नाटक कैडर के 1985 बैच के आईएएस अधिकारी रहे प्रदीप सिंह खरोला को नवंबर 2017 में एयर इंडिया का प्रमुख नियुक्त किया गया था। उनके कार्यकाल के दौरान सरकार एयर इंडिया के निजीकरण के अपने पहले प्रयास में विफल रही थी। वर्ष 2019 में प्रदीप सिंह खरोला को नए नागरिक उड्डयन सचिव के रूप में नियुक्त किया गया और वर्ष 2022 से वह भारत व्यापार संवर्धन संगठन के अध्यक्ष के रूप में कार्य कर रहे हैं। बता दें कि भारतीय सोसायटी पंजीकरण अधिनियम, 1860 के तहत नवंबर 2017 में स्थापित नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) एक स्वायत्त निकाय है। उसे उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश के लिए विभिन्न प्रवेश परीक्षाएं आयोजित करने का काम सौंपा गया है। एनटीए नीट, जेईई, सीटीईटी, यूजीसी नेट, सीएसआईआर यूजीसी नेट, कैट, गेट, जीपैट और जीमैट सरीखी परीक्षाएं आयोजित करता है।