Ranchi-कार्मिक प्रशासनिक सुधार और राज्य भाषा विभाग द्वारा मैट्रिक तथा इंटरमीडिएट स्तर की प्रतियोगिता परीक्षा में क्षेत्रीय भाषाओं के साथ द्वितीय राजभाषा उर्दू को शामिल कर उर्दू भाषियों को जिला स्तरीय बहाली में भाग लेने का अवसर प्रदान कर दिया गया है.
यहां बता दें कि भाषाओं को लेकर झारखंड में काफी विवाद होता रहा है. अभी हाल ही में मगही, भोजपुरी को क्षेत्रीय भाषा में शामिल करते ही कई स्थानों से विरोध की खबरे आ रही है. सरकार से राज्य में भाषा
वार सर्वेषण करवाने की मांग की जा रही है. इसके पहले मगही, भोजपुरी को सूची से हटाने पर विवाद गहराया था. अब देखना होगा कि राजनीतिक हलकों में इसे किस रुप में लिया जाता है.
हिंदी को अनिवार्य भाषा की सूची से हटाना भाषा विवाद का समाधान नहीं- डॉ अजय कुमार