गया : बिहार के गया में सुखना महादेव सुख के देवता के रूप में विराजमान हैं। शहर के विष्णुपद क्षेत्र में सुखना महादेव का शिवलिंग स्थापित है। यह शिवलिंग काफी प्राचीन कालीन की है। इस सुखना महादेव मंदिर का जीर्णोद्धार सैकड़ों वर्ष पूर्व कराया गया था। यह मंदिर 1000 वर्ष पुराना बताया जाता है। हालांकि कुछ भक्तों का यह भी कहना है कि रामायण में इस मंदिर का जिक्र है।
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सुख के देवता के रूप में होती है पूजा
सुखना महादेव की पूजा सुख के देवता के रूप में की जाती है। कहा जाता है कि सुखना महादेव मंदिर में अति प्राचीन शिवलिंग मौजूद है। यहां दूर-दूर से शिवलिंग के दर्शन करने भक्त आते हैं। यहां भक्तों की मुरादे पूरी होती है और सुखना महादेव की कृपा से घर में सुख का वास हो जाता है।
सुखना महादेव की पूजा करने से घर में आती है शांति सुख
वहीं, यहां आने वाले भक्त बताते हैं कि सुखना महादेव की पूजा करने से घर में सुख शांति का वास हो जाता है। ऐसी इनकी पूरी आस्था है और यही वजह है कि ऐसे भक्त श्रद्धालु हैं, जो कि सुखना महादेव के दर्शन और पूजन करने के लिए लगातार पिछले कई सालों से आ रहे हैं। इस अति प्राचीन सुखना महादेव मंदिर में स्थित स्थापित शिवलिंग के दर्शन के लिए काफी दूर-दूर से लोग आते हैं। सुख देने वाले देवता के रूप में यह मंदिर काफी प्रसिद्ध है। भक्त बताते हैं सुखना महादेव अपने भक्तों की पुकार को जल्दी सुन लेते हैं।
कभी इस मंदिर के समीप से दूध की धारा बहती थी
सुखना महादेव मंदिर में शिवलिंग दर्शन और पूजन करने आई चिंतामणि देगी बताती है कि सुखना महादेव सुख के देवता है। घर में सुख शांति इनकी कृपा से आती है। यह मंदिर काफी पुराना है। बताती है कि रामायण में भी इसका जिक्र है। कभी इस मंदिर के समीप से पानी दूध की धारा बहा करती थी। यह काफी प्रसिद्ध मंदिर रहा है और आज भी इसकी प्रसिद्धि बनी हुई है। यहां पूजन करने से हर मनोकामना पूर्ण होती है और घर में सुख शांति समृद्धि आती है। वह पिछले 40 वर्षों से यहां आ रही है और पूजा करती है। इसी प्रकार भक्तों की आस्था सुखना महादेव मंदिर के प्रति है।
आशीष गुप्ता की रिपोर्ट