जमशेदपुरः पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने मुख्यमंत्री हेमंत सरकार पर बड़ा हमला बोला, कहा कि हेमंत सरकार न केवल मगरूर है, बल्कि बेशर्म भी है। पूर्व मुख्यमंत्री का गुस्सा यहीं नहीं रुका, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को अनोखेलाल की उपाधि देते हुए कहा कि जब झारखंड का मुख्यमंत्री ही अनोखेलाल हैं, तो काम भी अनोखा ही होगा। हेमंत सरकार की सिर्फ जनता की अदालत में ही नहीं, बल्कि न्यायिक अदालत में भी बार-बार फजीहत हो रही है। लेकिन सरकार के खैरखाह सरकार को एवरग्रीन बताने में लगे हैं।
रघुवर दास ने हेमंत सोरेन को विभिन्न नामों से संबोधित करते हुए कहा कि इसी को नागपुरिया में थेथर, भोजपुरी में बेहया और हिंदी में बेशर्म कहा जाता है। लोक-लाज छोड़ कर, हेमंत सरकार अपने निकम्मेपन पर इतरा रही है। हाई कोर्ट, सुप्रीम कोर्ट से फटकार सुनने के बाद भी अपनी चाल-चलन को बदलने को तैयार नहीं।
पूर्व मुख्यमंत्री ने उदाहरण देते हुए कहा कि साहिबगंज की महिला दरोगा रूपा तिर्की मौत मामले में सरकार की जिस तरह फजीहत हुई, वह कल्पना के परे है। रूपा के परिजन, आदिवासी समाज और भाजपा समेत अन्य विपक्षी दल लगातार सीबीआई जांच की मांग कर रही थी, लेकिन सरकार अपनी जीद्द पर अड़ी रही। सीबीआई जांच टालने की नियत से हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता में न्यायिक आयोग का गठन किया गया, ताकि मामले को टाला जाए। लेकिन, अब यह मामला सरकार के गले की फांस बन गई है।
हेमंत सरकार वोट बैंक की तुष्टीकरण करते हुए नमाज पढ़ने के लिए अलग कमरा आवन्टित करने का आदेश तो दे दिया, लेकिन मंदिरों को खोलने का आदेश नहीं दिया। जबकि पूरे देश के सारे मंदिर खुल चुके हैं।
भारतीय जनता पार्टी विधानसभा में नमाज अदा करने के लिए अलग कमरा आवन्टित किये जाने की निंदा करती है। यह एक साम्प्रदायिक निर्णय है। विधान सभा अध्यक्ष से आग्रह है कि यदि यह निर्णय किसी दबाव में लिया गया है, तो अपनी संवैधानिक दायित्वों को देखते हुए इसे वापस लें। रघुवर दास ने कहा कि इस मामले में वे विधान सभा अध्यक्ष को पत्र लिखेंगे।
रिपोर्टः लाला जुबीन