Baba Ramdev : राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ बहुत बड़ी संस्था और मोहन भागवत बड़े प्रचारक

डिजिटल डेस्क। Baba Ramdev : राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ बहुत बड़ी संस्था और मोहन भागवत बड़े प्रचारक। योगगुरू Baba Ramdev ने बुधवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत को लेकर काफी अहम बयान दिया।

संघ प्रमुख मोहन भागवत के हालिया बयानों पर कतिपय साधु-संतों के विरोध के प्रसंग को Baba Ramdev ने कोई तवज्जो नहीं दिया और आजाद भारत में संघ और मौजूदा दौर में संघ प्रमुख की योगदानों की सराहना की।

बुधवार को देश के अग्रणी टीवी न्यूज चैनल के खास शो के दौरान पूछे गए सवालों के क्रम में Baba Ramdev ने इस प्रसंग में काफी बेबाकी से लेकिन काफी संयमित शब्दों में नपातुला जवाब दिया। Baba Ramdev ने कहा कि – ‘राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ बहुत बड़ी संस्था है और मोहन भागवत बड़े प्रचारक हैं’।

संघ और संघ प्रमुख पर यह बोले  Baba Ramdev…

देश के अग्रणी टीवी न्यूज चैनल के खास शो के दौरान पूछे गए सवालों के जवाब में संघ और संघ प्रमुख का प्रसंग आने पर योग गुरू Baba Ramdev ने कहा कि – ‘…राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत ने देश की सेवा में बड़ा योगदान दिया है। डॉ. मोहन भागवत सनातन की बड़ी विभूति हैं। वह बहुत बड़े प्रचारक हैं। 

…मैं कभी संघ की शाखा में नहीं गया। संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत ने जो बात कही है कि बड़े तीर्थ स्थानों को छोड़कर हर जगह मंदिर-मस्जिद की बात करेंगे तो सौहार्द बिगड़ेगा। ये सच है कि आक्रांताओं ने हमारे मंदिर तोड़े। कुछ ऐसा हुआ है जो नहीं होना चाहिए था।

…कुछ लोग कह रहे हैं कि मोहन भागवत का बहिष्कार कर दिया। हमको जमीनी बातों पर विश्वास करना चाहिए। …मोहन भागवत और संघ ने देश की सेवा में बड़ा योगदान दिया है’।

Baba Ramdev
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 ‘महाकुंभ का राजनीतिकरण नहीं होना चाहिए…सनातनियों में तनातनी कतई नहीं होनी चाहिए’

इसी क्रम में Baba Ramdev ने महाकुंभ में मुसलमानों की एंट्री को लेकर उपजे विवाद, महाकुंभ में होने वाली धर्म संसद और संघ प्रमुख भागवत के बयान पर साधु-संतों के उबाल वाले बयानों पर भी संयमित जवाब दिया।

Baba Ramdev ने कहा कि – ‘…महाकुंभ का राजनीतिकरण नहीं होना चाहिए। हिंदू-मुसलमानों के पूर्वज एक हैं। महाकुंभ विवाद नहीं संवाद का पर्व है। महाकुंभ में मुसलमानों की एंट्री बंद कर दी जाए वाली बात आपस में तनातनी से हुआ है। ये क्रिया प्रतिक्रिया की वजह से हुआ है। हजार साल पहले मुसलमानों के पूर्वज हिंदू ही थे।

…हमारी मूल प्रकति और संस्कृति एक है। जो लोग मानते हैं कि हमारी प्रकति और संस्कृति एक है, वो आएं और डुबकी लगाएं।

…रही मोहन भागवत जी की बात, तो अपने बड़ों का अनादर नहीं होना चाहिए।  सनातनियों में तनातनी कतई नहीं होनी चाहिए। मंदिर के नीचे मस्जिद तलाशने का विषय अभी बहुत ज्यादा उबाल ले रहा है। मैं सत्य के साथ खड़ा हूं’। 

Baba Ramdev
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बोले Baba Ramdev – मुसलमानों में अच्छे भी हैं,  विवादों से कोई बड़ा नहीं बनता…बड़ा काम से होता है

Baba Ramdev ने इसी टीवी न्यूज चैनल के खास शो में कुछ अन्य सवालों का भी अपने अंदाज में जवाब दिया। कहा कि – ‘…कुछ लैंड जिहाद करते हैं, कुछ थूक जिहाद करते हैं, ये भी सच है। मुसलमानों में अच्छे मुसलमान भी हैं। जो लोग गलत हैं उनका बहिष्कार होना चाहिए। कोई मुल्ला मौलवी गलत बातों का विरोध नहीं करता।  विवादों से कोई बड़ा नहीं बनता। बड़ा काम से होता है।

…(मोहन भागवत के बयान को लेकर रामभद्राचार्य की प्रतिक्रिया के संदर्भ में…) …वो हमसे बहुत प्रीति रखते हैं। कुछ गलतफहमी है, वो दूर हो जाएगी। एकता की बात ज्यादा होनी चाहिए। कभी-कभी कुछ महापुरुष उत्साह में कुछ बोल जाते हैं। आखिर भारत को हिंदू राष्ट्र बनाकर करना क्या है ? …हम सब ऋषियों की संतान हैं। समर्थ बनकर सनातन को युगधर्म बना सकते हैं’। 

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