Tuesday, October 28, 2025
Loading Live TV...

Latest News

Giridih: छठ पूजा में तालाब में नहाने के दौरान हादसा, डूबकर किशोर की मौत

Giridih: जिले में छठ पूजा के मौके पर एक दर्दनाक हादसा हो गया। पचंबा थाना क्षेत्र के तेलोडीह पंचायत के लोहपिट्टी स्थित लच्छो तालाब में मंगलवार को 12 वर्षीय आयुष कुमार की डूबने से मौत हो गई। बताया जा रहा है कि आयुष तालाब में नहाने गया था, तभी वह गहरे पानी में चला गया और बाहर नहीं निकल सका।Giridih: डूबकर किशोर की मौत स्थानीय लोगों ने जब बच्चे को पानी में डूबते देखा तो शोर मचाया और उसे बचाने की कोशिश की, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। घंटों की मशक्कत के बाद ग्रामीणों ने शव को बाहर...

3 बम एक साथ जोड़ने के दौरान जोरदार धमाका, युवक की मौके पर मौत

मधेपुरा : मधेपुरा जिले के उदाकिशुनगंज थाना क्षेत्र स्थित बराही गांव के निवासी हरी ऋषिदेव के 16 साल के पुत्र अंनु कुमार ने एक स्टील के गिलास में तीन बम को एक साथ जोड़ कर फोड़ना महंगा पड़ गया। बम में आग लग जाने से बम फट गया और उस लड़के के सीने में बम का टुकड़ा लग गया। जिससे लड़का बुरी तरह घायल हो गया। ग्रामीणों ने आनन-फानन में अस्पताल पहुंचाया। डाक्टर देखते ही बच्चे को मृत घोषित कर दिया। मृतक युवक के परिवार वालों का रो-रोकर बुरा हाल है। वहीं ग्रामीणों में भय और अफरा-तफरी का माहौल...

नो एंट्री आंदोलन पर बवाल: ग्रामीणों और पुलिस में झड़प, लाठीचार्ज और आंसू गैस के गोले छोड़े गए

Chaibasa: पश्चिमी सिंहभूम जिले के चाईबासा में बड़ा हंगामा देखने को मिला। तांबो चौक पर उस समय हालात अचानक तनावपूर्ण हो गए जब नो एंट्री आंदोलन को लेकर ग्रामीणों और पुलिस के बीच झड़प हो गई। ग्रामीणों ने पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया। जिसके जवाब में पुलिस ने लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े। इस हिंसक झड़प से पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। स्थिति को संभालने के लिए पुलिस को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। इस दौरान सदर एसडीपीओ बहामन टूटी का वाहन भी पत्थरबाजी में क्षतिग्रस्त हो गया। ग्रामीणों की मांग — दिन में भारी वाहनों के...

‘अंतरराष्ट्रीय पर्यटन स्थल के रूप में है नालंदा की पहचान, घूमने के लिए है कई ऐतिहासिक व धार्मिक स्थल’

“Efficient supply chain and cargo logistics service in Bihar and Jharkhand”
Advertisment

नालंदा : नालंदा की धरती का ऐतिहासिक एवं धार्मिक दृष्टिकोण के साथ साथ अंतरराष्ट्रीय पर्यटन स्थल के रूप में पहचान स्थापित है।जिले अंतरराष्ट्रीय पर्यटन नगरी राजगीर का शाब्दिक अर्थ देवी देवताओं का निवास स्थान माना जाता है। पंच पहाड़ियों से घिरा यह नगरी मगध साम्राज्य के मौर्य सम्राटों का राज्य माना जाता था। यह ऐतिहासिक स्थल राजगीर भगवान महावीर और गौतम बुद्ध जैसे आध्यात्मिक महापुरुषों का पसंदीदा स्थल माना जाता है। राजगीर का उल्लेख महाभारत में जरासंध के राजा के रूप में भी मिलता है। राजगीर की यात्रा करने का सही समय जनवरी, फरवरी, मार्च, अक्टूबर, नवंबर और दिसंबर का महीना माना जाता है। जहां राजगीर में कई दर्शनीय स्थल है।

आपको बता दें कि बिहार की राजधानी पटना से करीब 95 किलोमीटर दूर नालंदा के अंतरराष्ट्रीय पर्यटन स्थल राजगीर में पर्यटको को घूमने के लिए काफी महत्वपूर्ण स्थल माना जाता है। यहां कई ऐतिहासिक स्थल है। जो की आज भी देखने लायक है। दरअसल, जिला मुख्यालय बिहारशरीफ से करीब 30 किलोमीटर दूर राजगीर में बैभव गिरी पर्वत के तलहटी में ब्रह्म कुंड है। जहां वर्षा के समय पहाड़ो में जमा पानी जो कि सल्फर, गंधक के सहारे गर्म होकर सप्तधारा से गिरती है। उसी गर्म पानी में पर्यटको को स्नान करने के लिए सबसे अच्छा स्थान माना जाता हैं। तथा यहां गर्म पानी मे स्नान कर थकावटें दूर कर सकते हैं। इसी प्रकार राजगीर ब्रह्म कुंड के पास ही पर्यटको के लिए घूमने की जपानी मंदिर, वेणुवन बिहार और पांडु पोखर भी है। जहाँ पर्यटको को घूमने फिरने और मनोरंजन के लिए कई तरह की व्यवस्था की गई है।

जबकि ब्रह्मकुंड परिसर से ही करीब डेढ़ किलोमीटर दूर बन विभाग और जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा 19 करोड़ की लागत से 500 एकड़ में विकसित नेचर सफारी फैली हुई है। यह राजगीर – जेठियन मार्ग पर स्थित है। इसमें विभिन्न मनोरंजक सुविधाओं में सस्पेंशन ब्रिज, जिप लाइनिंग, रॉक क्लाइंबिंग वाल , तीरंदाजी रेंज, कुश्ती क्षेत्र बस टावर चिल्ड्रन पार्क शामिल है। इसमें मुख्य आकर्षण का केंद्र जो कि कांच का पुल राजगीर ग्लास ब्रिज है। जो 200 फीट ऊंची और 85 फीट लंबी है। इसपर एक बार में करीब 40 पर्यटक चढ़कर सैर कर सकते है।इसके अलावा नेचर सफारी के अंदर मुख्य गेट पर भगवान बुद्ध की बनाई गई आकर्षक तस्वीर से भी रूबरू होते हैं।

इसके अलावा जु सफारी में भालू, तेंदुआ, हिरण, बाघ और शेर जैसे जंगली जानवर मौजूद हैं। जिसे पर्यटक एसी बस में सुरक्षित बैठकर इन जंगली जानवरों का दीदार करते हैं। जहां घूमने के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन करीब 250 से ऊपर प्रति पर्यटक टिकट कटानी पड़ती है। इतना ही नही इसी जगह के आसपास जरासंध अखाड़ा है। जो की मगध सम्राट के राजा जरासंध को महाभारत के दौरान भीम ने दो भागों में फाड़ कर हराया था। वह स्थल आज भी मौजूद है। जहां लोग देखते हैं वही स्वर्ण भंडार जो की सोन भंडार का मूल रूप से व्यवहार गिरी पहाड़ियों की तलहटी में स्थित दो गुफाओं का समूह है यह गुफाएं तीसरी या चौथी शताब्दी ईसा पूर्व की है। प्रवेश द्वार पर गुप्त भाषा में लिखे शिलालेख आज भी राज बना हुआ है।

मनियार मठ भी राजगीर के दर्शनीय स्थल में से एक प्रसिद्ध स्थान माना जाता है। यह राष्ट्रीय हित का स्मारक है। इसे जैन मंदिर के रूप में डिजाइन किया गया है। लेकिन यह जैन मंदिर नहीं है। यह शीलभद्र नाम के एक साधु को समर्पित है। जो एक बहू करोड़पति थी। कहा जाता है कि इसमें कई बेसकीमती रत्न दबे हुए हैं। लेकिन उनका पता नहीं लगाया जा सकता है। इसी प्रकार कुछ ही दूरी पर आगे बढ़कर बिंबिसार जेल है। जहां बौद्ध साहित्य के अनुसार अजातशत्रु ने राजा बनने के बाद अपने पिता बिंबिसार को यही कैद किया था। बंदी बिम्बिसार ने अपनी कैद खाने के लिए यही स्थान चुना था। क्योंकि यहां से वह भगवान बुद्ध को गृद्धकूट पहाड़ी के ऊपर चढ़ते हुए देख सकते थे।

वहीं राजगीर जू सफारी से आठ किलोमीटर आगे चलकर घोड़ा कटोरा झील है। कहा जाता है कि यहां पर राजगीर के राजाओं के घोड़े पानी पिया करते थे। झील का आकार घोड़े जैसा है। विश्व शांति स्तुपा के पास यह झील तीन तरफ से पहाड़ों से गिरी हुई है। इस झील में सर्दियों के समय साइबेरिया और मध्य एशिया के प्रवासी पक्षियों को आकर्षित करती है। इस झील की सुंदरता पर्यटकों को भी आकर्षित करती है। झील के बीचोबीच भगवान बुद्ध की प्रतिमा को स्थापित किया गया है।

विश्व शांति स्तूप, रथ चक्र और साइक्लोपिन दीवार इत्यादि का भी भ्रमण करते हैं। इस दौरान सिंगल सीटर व 08 सीटर रोप-वे में बैठकर पर्यटक पर्वत पर चढ़कर भगवान बुद्ध के दर्शन करते हैं। यहां सभी धर्मों के लोगों का समागम कहा जाता है। ब्रह्मकुंड के सामने शीतल कुंड है। सूर्यकुंड के थोड़ी ही दूरी पर मकदूम कुंड है। यह मखदूम कुंड एक मुस्लिम संत मखदूम शाह का पवित्र कुंड और दरगाह है। वह एक सूफी संत थे जिन्होंने राजगीर के जंगलों में 12 साल बिताए थे। वह एक असाधारण व्यक्ति थे जिन्होंने बिना किसी अपेक्षा के स्थानीय लोगों की मदद की थी। पर्यटकों के ठहरने के लिए यहां कई होटल है। जैसे होक्के होटल, गाग्रील ग्रैंड और होटल रेसिडेंशियल। जहां करीब तीन हजार से अधिक रुपयों में होटल का कमरा बुक करा ठहर थकान मिटा सकते हैं। इसके अलावा यहां सैकड़ों की संख्या में छोटे-छोटे होटल भी है। जहां सस्ते दामों पर ठहरने की सुविधा है। जहां 500 से अधिक रुपए चुका कर प्रतिदिन ठहर सकते हैं।

रजनीश किरण की रिपोर्ट

https://22scope.com 

https://youtube.com/22scope

Related Posts

नीतीश में गृह जिले में गरजे शाह, कहा- आपने 20 साल...

नालंदा : बिहार विधानसभा चुनाव के सिलसिले से केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह खगड़िया और मुंगेर के बाद सीएम नीतीश कुमार के गृह जिले...

नालंदा से श्रवण कुमार,राजगीर से कौशल किशोर और हिलसा से जेडीयू...

नालंदा से श्रवण कुमार,राजगीर से कौशल किशोर और हिलसा से जेडीयू के प्रेम मुखिया ने भरा पर्चा नालंदा : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के बीच...

एनडीए प्रत्याशी डॉक्टर सुनील के समर्थन में मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने...

एनडीए प्रत्याशी डॉक्टर सुनील के समर्थन में मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने की चुनावी सभा,पक्ष में की वोट की अपील बिहारशरीफ : बिहार विधानसभा चुनाव में...
152,000FansLike
25,100FollowersFollow
628FollowersFollow
655,000SubscribersSubscribe
WhatsApp Join our WhatsApp Channel