29.2 C
Jharkhand
Friday, April 26, 2024

Live TV

Chatra: घर गिरने से बिरहोर की मौत, डर के साए में रहने को विवश परिवार

चतरा : घर गिरने से बुधन बिरहोर नामक एक व्यक्ति की घटनास्थल पर ही मौत हो गई.

जबकि उसके परिवार के अन्य सदस्य बाल-बाल बच गए.

इस घटना से इन बिरहोर परिवारों के बीच काफी आक्रोश व्याप्त है.

आदिम जनजाति बिरहोर परिवार के सदस्य गांव में बने कुछ पुराने बिरसा आवास जो कि जीर्ण शीर्ण अवस्था में है.

जिसमें लोग रहने को विवश हैं और कई तो घास फूस की झोपड़ियां बनाकर रह रहे हैं.

इस मामले में परिवार के सदस्य सरकार की उपेक्षा पूर्ण नीति से काफी मायूस है.

वे लोग बताते हैं कि हमेशा वे डर के साए में जीने को मजबूर हैं.

रहने व सोने के लिए काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

22Scope News

भूखे रहने को विवश बिरहोर परिवार !

दूसरी ओर पत्तल दोना व अन्य जंगली वस्तुओं को बेचकर अपना जीविकोपार्जन करने वाले

यह बिरहोर जाति के लोगों के समक्ष खाने पीने की भी घोर अभाव है और उन्हें सरकार द्वारा समय-समय पर

मिलने वाला अनाज भी पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध नहीं हो पाता जिससे वह भूखे रहने को भी विवश है.

22Scope News

बिरहोर की मौत : परिवार का BDO ने जाना हाल

घटना की सूचना पाकर सदर प्रखंड विकास पदाधिकारी गणेश रजक ने घटनास्थल पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया, और कहा कि आपदा राहत के तहत प्रभावित परिवार को पर्याप्त सुविधाएं उपलब्ध कराते हुए जीर्ण शीर्ण में पड़े बिरसा आवास को दुरुस्त किया जाएगा तथा उनके रहने के लिए नए बिरसा आवास के निर्माण की प्रक्रिया अपनाकर इन परिवारों को सरकार की सारी योजनाओं का लाभ पहुंचाने का काम किया जाएगा.

आदिम जनजाति के उत्थान के लिए चल रही कई महत्वाकांक्षी योजनाएं

केंद्र व राज्य सरकार विलुप्त प्राय आदिम जनजाति के उत्थान के लिए कई महत्वाकांक्षी योजनाएं चला रही है. वहीं सदर प्रखंड के रक्सी गांव स्थित बिरहोर टोला की स्थिति कुछ ज्यादा ही जर्जर व विकराल है. जहां लोगों के रहने की कोई मुकम्मल व्यवस्था नहीं है और तकरीबन 15-20 परिवार के लोग टूटे-फूटे घरों अथवा कच्चे नुमा झोपड़ियां बनाकर निवास कर रहे हैं.

बिरहोर की मौत : सरकारी व्यवस्था की खुली पोल

बहरहाल विलुप्त हो रहे आदिम जनजाति के बिरहोर परिवार की यह हालत सरकारी व्यवस्था का पोल खोलने के लिए काफी है. ऐसे हालात में सरकार अथवा जिला प्रशासन को आदिम जनजाति परिवार की सुरक्षा के लिए अविलंब कारगर कदम उठाना चाहिए ताकि विलुप्त होने के कगार पर पहुंच रही इन आदिम जनजातियों को बचाया जा सके.

रिपोर्ट: सोनु भारती

Related Articles

Stay Connected

115,555FansLike
10,900FollowersFollow
314FollowersFollow
187,000SubscribersSubscribe
- Advertisement -

Latest Articles