अरे भैया, झारखंड का “बंटी और बबली” का किस्सा तो किसी फिल्म से कम नहीं है। 2005 में जो बंटी-बबली आया था, उसमें तो अभिषेक बच्चन और रानी मुखर्जी ने मिलकर बड़ा बवाल काटा था, लेकिन अब झारखंड की सियासत में कौन ये नया बंटी-बबली बनकर उभरा है, यही तो समझ में नहीं आ रहा! राजा कह रहे हैं कि ये जोड़ी झारखंड को “हिट” कर देगी, और उनके सिपाही कह रहे हैं कि ये जोड़ी जनता को “ठग” नहीं पाएगी। अब भैया, जनता तो सोच में पड़ गई है कि कौन बंटी है, कौन बबली है, और ये कौन से ठगी की बात हो रही है!
लगता है जैसे राजा ने एक नया शो चालू कर दिया है, जिसमें बंटी और बबली की नई कास्टिंग की गई है। 9 साल बाद फिर से “बंटी-बबली” रिलीज़ हो रही है, लेकिन इस बार ये पॉलिटिक्स की दुनिया में हो रहा है। लोग कन्फ्यूज हैं, कोई कहता है कि राजा और रानी खुद बंटी-बबली हैं, तो कोई कहता है कि इन दोनों के अलावा कोई तीसरी जोड़ी है! जनता को तो सिर्फ सस्पेंस थ्रिलर की फील आ रही है!
एक सिपाही ने कहा, “नहीं-नहीं, ये बंटी और बबली जनता को ठगने नहीं देंगे।” अब हम तो सोच में पड़ गए, अरे भाई, कौन जनता को ठगने आ रहा है और कौन रोकेगा? ये सियासी बंटी-बबली की जोड़ी ऐसे लग रही है जैसे बड़े पर्दे पर पहले अमिताभ बच्चन खोज रहे थे और अब झारखंड में कोई और खोजने निकल पड़ा है।
सिंहासन का दावेदार भी ऐसा टेढ़ा खेल खेल रहा है कि दर्शक दिमाग का दही कर लें। कोई राजा बोलता है “हिट जोड़ी” बनेगी, और सिपाही बोले “ये ठग नहीं पाएंगे” – जनता कन्फ्यूज, कौन हीरो है और कौन विलेन, ये समझ में नहीं आ रहा!
तो भाई, इस सियासी बंटी-बबली का असली जवाब जानने के लिए हम भी आपके साथ इस शो के अगले एपिसोड का इंतजार कर रहे हैं।