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पटना: मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चुनाव प्रचार के लिए बिहार पहुंचे थे। अपने चुनावी सभा में प्रधानमंत्री ने विपक्ष पर जम कर निशाना साधा। प्रधानमंत्री के बिहार दौरे के बाद कांग्रेस ने मोदी पर प्रहार किया और 10 सवाल पूछा। कांग्रेस के आनंद माधव प्रधानमंत्री मोदी पर हमला करते हुए कहा कि ‘मोदी जी बिहार आये हैं, झूठ का पिटारा साथ लाये हैं। बिहार की पूछती है कि आपने बिहार को क्या दिया है छल के अलावा।
आनंद माधव ने कहा कि मोदी जी बिहार में झूठ और जुमलों की जबरदस्त बारिश की। मोदी जी इसी झांसे में आकर 2019 में 40 में से 39 सीटें जीत ली। रोजगार के लिए पलायन, स्वास्थ्य के लिए पलायन, बेहतर भविष्य के लिए पलायन, शिक्षा के लिए पलायन। बिहार में न कोई उद्योग लगा न बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिला। विशेष पैकेज के नाम से पहले ही आवंटित राशि को दुबारा परोसा गए।
अगर मोदी जी ने कोई काम किया है तो इन सवालों के जवाब दे दें कि मोदी जी ने 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान कहा था कि वे यहां बंद पड़ी मिलों को शुरू करवाएंगे और अगली बार बिहार आने पर उसी चीनी का चाय पिएंगे? दस वर्ष बीत गए और बचे चीनी मिल भी बंद हो गए। डबल इंजन की सरकार के मुखिया नीतीश जी ने मोदी जी के साथ एक मंच साझा करते हुए पटना विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा देने की मांग की थी, पर आपने मना क्यों कर दिया? पूर्णिया, मुजफ्फरपुर और भागलपुर हवाई अड्डा का क्या हुआ? आपने भाषण में दरभंगा में एम्स तो बना दिया लेकिन वह जमीन पर कब उतरेगा?
बिहार में विलय के नाम पर सरकारी स्कूलों को बंद किया जा रहा है। अब तक करीब 5000 से अधिक स्कुल बंद किये जाने की सूचना है। केवल पूर्वी चंपारण जिले 323 विद्यालय बंद किया जा रहा है। विद्यालयों को बंद करना शिक्षा के अधिकार का खुला उल्लंघन है। क्या यह निजी विद्यालयों को बढ़ावा देने के लिए सरकार की सोची समझी नीति नहीं है?
बिहार में ऋण जमा अनुपात सबसे कम मात्र 54 प्रतिशत क्यों है? पंजाब हरियाणा में किसानों की प्रति व्यक्ति आय 18000 रूपये जबकि बिहार में मात्र 3500 रूपये ही क्यों? नीतीश सरकार ने 2006 में ही कृषि उत्पादन बाजार समिति को बंद करवा दिया था, दस वर्षों में दुबारा शुरू क्यों नहीं हो पाया? बिहार ताज़ी सब्जियों में शीर्ष उत्पादक, फलों में तीसरे स्थान पर, दूध में अग्रणी उत्पादक बावजूद इसके घरेलू बाजारों तक किसानों को पहुँचने के लिए किसान ट्रेन सुविधा क्यों नहीं प्रदान की गई? कोसी के कहर बिहार को मुक्ति कब मिलेगी? बाढ़ के प्रकोप को कम करने के लिए केंद्र सरकार ने कितने बांध बनाए?
लोकसभा चुनाव के ठीक पहले बिहार को मिला बड़ा उपहार, एनटीपीसी ने 220 मेगावाट क्षमता की बरौनी तापीय बिजलीघर स्टेज-1 रूप से बंद कर दिया। कंपनी द्वारा शेयर बाजार को दी गई सूचना में बताया गया कि एनटीपीसी बरौनी तापीय बिजलीघर स्टेज 1 (110-110 मेगावाट की दो इकाइयों) के परिचालन को 31 मार्च 2024 तक बंद कर दिया जायेगा। काँटी थर्मल पावर स्टेशन भी मरणासन्न स्थिति में क्यों?
पटना से अविनाश सिंह की रिपोर्ट
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