रांची: झारखंड में विधानसभा चुनाव से पहले राजनीतिक बयानबाजियों का दौर तेज हो गया है। धनबाद के सांसद ढुल्लू महतो और पूर्व मंत्री सरयू राय के बीच एक बार फिर से राजनीतिक प्रतिद्वंदिता बढ़ती नजर आ रही है। दोनों नेताओं के बीच आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला एक बार फिर से शुरू हो गया है।
हाल ही में ढुल्लू महतो ने सरयू राय पर कई गंभीर आरोप लगाए। उनका कहना था कि सरयू राय ओबीसी समुदाय के लिए पसंदीदा नेता नहीं हैं और उनके क्षेत्र में विकास कार्यों की कमी है। इसके अलावा, उन्होंने राय पर आपराधिक मामलों में लिप्त होने का भी आरोप लगाया। इस बीच, सरयू राय ने ढुल्लू महतो के आरोपों का जोरदार पलटवार करते हुए कहा कि वे कानूनी कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू करेंगे। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि उनकी जमीनों को जबरन हड़पने वाले नेताओं के खिलाफ वे आवाज उठाएंगे।
सरयू राय ने कहा, “धनबाद में पिछले कुछ समय से जनता परेशान है। उनके साथ अन्याय हो रहा है। मैं इस पर चुप नहीं बैठूंगा। गरीबों की जमीन को लेकर जो अत्याचार हो रहा है, उसके खिलाफ मैं कानूनी कदम उठाने जा रहा हूँ।”
इस राजनीतिक तल्खी के पीछे लोकसभा चुनाव का इतिहास भी छिपा हुआ है, जब दोनों नेताओं के बीच तीखी बहस हुई थी। अब विधानसभा चुनाव की आहट के साथ, यह देखना दिलचस्प होगा कि इन आरोपों का चुनावी परिणाम पर क्या असर पड़ता है। क्या सरयू राय झारखंड के ‘चाणक्य’ के रूप में उभरेंगे या ढुल्लू महतो मेहत अपने आरोपों के साथ सफल रहेंगे, यह आने वाला समय ही बताएगा।
इससे स्पष्ट है कि झारखंड की राजनीति में सरयू राय और ढुल्लू महतो के बीच का यह संघर्ष आगामी विधानसभा चुनाव में एक महत्वपूर्ण मुद्दा बन सकता है।