Jharia: जिन माता-पिता के दो बेटे हों, उन्हें बुढ़ापे की चिंता नहीं रहती, लेकिन बच्चे अगर निर्दयी, निर्मोही होकर पिता को घर से बेघर कर दें, तो शायद उससे बदकिस्मत इंसान कोई और नहीं हो सकता।
Jharia: बेटे ने बुजुर्ग पिता को किया बेघर
यह कहानी है झरिया थाना क्षेत्र के मानबाद में रहने वाले 60 साल के एक असहाय बुजुर्ग पिता की। दो बेटे होते हुए भी आज गलियों और सड़कों पर दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर है। घर-घर जाकर दो वक्त की रोटी मांग कर जैसे-तैसे गुजारा कर रहे हैं। इस मानसून के मौसम में खुले आमसान के नीचे गुजारा करने को विवश है।
जानकारी के अनुसार, 60 वर्षीय बुजुर्ग मोहन धीवर दो बेटों का पिता होने के बावजूद उम्र के आखिरी पड़ाव में दर-दर की ठोकरें खा रहा है। छोटे बेटे स्वपन धीवर जलसाजी कर पिता का घर को अपने नाम करवाने के बाद घर से बाहर निकाल दिया।
Jharia: 22 साल पहले पत्नी की हो गई मौत
ऐसे में विगत दो तीन महीने से बुजुर्ग के सामने रहने और खाने के लाले पड़े हुए हैं। इस दौरान बुजुर्ग मोहन धीवर ने बताया कि मेरी पत्नी की मौत 22 साल पहले हो चुकी है। इसके बाद बेटे बहु हमें प्रताड़ित करने लगे और धोखे से अपने नाम पर घर लिखा लिया और हमें बाहर कर दिया।
मनोज शर्मा की रिपोर्ट
Highlights