पटना: दिल्ली से पटना पहुंचे केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने एक बार फिर BPSC अभ्यर्थियों के समर्थन में बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि अभ्यर्थियों की बातों को सुनना चाहिए। आयोग कान में तेल डाल कर छात्रों की बात सुनने के लिए भी तैयार नहीं है। मैं आयोग के अध्यक्ष और सभी सदस्यों से आग्रह करता हूं कि बच्चों की मांग को सुनिए और अगर आपसे कहीं कोई भूल चुक हुई है तो मानिये और सुधार कीजिये। मैंने पहले भी कहा था और अभी फिर से दुहराता हूं कि मेरे परिवार के बच्चों ने भी परीक्षा दी है और उन्होंने मुझे बताया कि परीक्षा में किस तरह से अनियमितता बरती गई थी।
1 नहीं 22 केंद्रों पर हुई गड़बड़ी
परीक्षा के दौरान प्रश्न पत्र उपलब्ध नहीं थे। परीक्षा प्रश्न पत्र बाहर जा रहे हैं, बच्चे अंदर परीक्षा दे रहे हैं और प्रश्न पत्र सोशल मीडिया पर घूम रहा है। कहीं न कहीं गलत हुआ तभी तो आयोग ने एक परीक्षा केंद्र की परीक्षा दुबारा ली गई। ऐसा क्यों किया गया क्योंकि आयोग ने माना कि कहीं न कहीं गड़बड़ी हुई है। एक परीक्षा केंद्र की परीक्षा 22 अलग अलग परीक्षा केन्द्रों पर ली गई और इस तरह से अगर देखा जाये तो 22 परीक्षा केन्द्रों पर गड़बड़ी हुई।
बीपीएससी की पूरी परीक्षा ली जाये दुबारा
अगर किसी बच्चे को एक या दो अंक का भी फायदा मिल जाता है तो बच्चों की जिंदगी पर असर पड़ता है। इस वजह से बच्चों के दिमाग में बैठ जायेगा कि थोडा और मेहनत करते तो आज सफल हो जाते। ऐसे में अगर छात्र दुबारा परीक्षा की मांग कर रहे हैं तो क्या गलत मांग कर रहे हैं। मैं अभ्यर्थियों की मांग के समर्थन में हूं कि एक केंद्र का नहीं बल्कि पूरी परीक्षा दुबारा ली जाए। परीक्षा के दौरान अगर प्रश्न पत्र सोशल मीडिया पर घूम रहा है तो फिर एसओपी को माना जाये। बीपीएससी को परीक्षा दुबारा ली जाए।
दुखद है महाकुंभ की घटना
इस दौरान चिराग पासवान ने प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान भगदड़ में श्रद्धालुओं की मौत को दुखद घटना बताया और कहा कि आज मौनी अमावस्या के दिन भगदड़ में कई श्रद्धालुओं की जान चली गई। मैं सभी मृतकों को श्रद्धांजलि देता हूं और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं। यह घटना बहुत ही दुखद है। इतनी भारी संख्या में लोग वहां पहुंचे हैं, यह अपने आप में एक रिकॉर्ड है। इतनी बड़ी घटना घटी है इसमें कहां क्या चूक हुई यह देखना होगा। प्रधानमंत्री खुद ही इस पूरे मामले में नजर बनाये हुए हैं।
राजनीति नहीं करनी चाहिए
मुख्यमंत्री भी लगातार ध्यान रख रहे हैं। भविष्य में इस तरह की घटना दुबारा न घटे इस बात को सरकार सुनिश्चित कर रही है और इस घटना के पीछे क्या कारण है सरकार इस की जांच कर कार्रवाई करे। महाकुंभ के दौरान राज्य सरकार और मुख्यमंत्री ने खुद यह सुनिश्चित करने की कोशिश की कि आने वाले श्रद्धालुओं को किसी तरह की दिक्कत न हो। यह पहले से ही अनुमान था कि काफी भीड़ जुटने वाली है।
काफी हद तक व्यवस्था ठीक ही है लेकिन कल जिस तरह से भीड़ जुटी हुई और यह घटना हुई इस मामले में जांच कर दोषियों पर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस मामले में जो लोग राजनीति कर रहे हैं मैं उनसे कहना चाहता हूं कि यह राजनीति करने का समय नहीं है बल्कि जिनकी जान चली गई उनके प्रति संवेदना रखने का समय है। अगर किसी के पास कोई जानकारी है तो वे पूरी जानकारी जरुर दें। सरकार ने हमेशा कोशिश की कि किसी तरह की चूक न हो फिर भी ऐसा हुआ यह दुखद है।
नेता प्रतिपक्ष करते हैं सीएम पर व्यक्तिगत टिप्पणी
चिराग पासवान ने तेजस्वी यादव पर भी हमला किया और कहा कि वे मुख्यमंत्री पर लगातार निजी टिप्पणियां कर रहे हैं जिसका मैं कभी पक्षधर नहीं रहा हूं। अगर आपको आरोप लगाना है तो नीति पर लगाइए, सरकार की कार्यशैली पर आरोप लगाना है तो लगाइए। नेता प्रतिपक्ष का पद एक जिम्मेदारी का पद होता है ऐसे में उन्हें किसी व्यक्ति के ऊपर निजी टिप्पणी नहीं करनी चाहिए। यह वही मुख्यमंत्री हैं जिनका अपनी राजनीतिक लाभ के लिए उन्होंने साथ लिया और आज निजी टिप्पणी कर रहे हैं। हमने उप चुनाव में भी दिखाया कि एनडीए एकजुट है।
ताश की पत्तों की तरह बिखर गया महागठबंधन
दिल्ली का चुनाव 10 दिनों में खत्म हो जायेगा उसके बाद सभी का ध्यान बिहार पर होगा और हम पाँचों दल जिस तरह से एकजुट हैं उसके हिसाब से हमलोग एकतरफा जीत हासिल करेंगे। हमलोग बिहार में एतिहासिक 225 सीट पर दर्ज करेंगे और सरकार बनायेंगे। एनडीए के सभी दलों के प्रदेश अध्यक्ष एक साथ कार्यक्रम कर रहे हैं और इसका लक्ष्य है कि हमलोग बूथ स्तर तक पहुंचें। चिराग पासवान ने दिल्ली विधानसभा चुनाव को लेकर कहा कि इनका यही गठबंधन है।
बिहार से शुरू किया था और ताश की पत्तों की तरह उनका गठबंधन टूटने लगा। उनके सभी नेता एक दुसरे के सर पर पांव रख कर आगे निकलने की कोशिश कर रहे हैं। हमारे मुख्यमंत्री भी उस गठबंधन में थे लेकिन जब उन्हें इस बात का अहसास हुआ तो वे निकल गए। दिल्ली इस बात का बेहतर उदहारण है जहां आप देख सकते हैं कि महागठबंधन दो भाग में बंटा हुआ है। जिस गठबंधन में अभी से इतनी दरारें देखने को मिल रही है उसका क्या होगा।
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पटना से महीप राज की रिपोर्ट
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